'काल का ध्यान ना रखने वाला महाकाल का शिकार बनता है,' पुलिस मंथन में CM योगी ने सिखाया टाइम मैनेजमेंट

उत्तर प्रदेश पुलिस के वरिष्ठ अधिकारियों के दो दिवसीय सम्मेलन ‘पुलिस मंथन-2025’ के समापन अवसर पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने पुलिसिंग, नवाचार, संवाद और टाइम मैनेजमेंट को लेकर अहम संदेश दिए. सम्मेलन में 2022 से 2025 के बीच बेहतर पुलिसिंग के लिए 16 पुलिसकर्मियों को सम्मानित करने की भी घोषणा की गई.

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उत्तर प्रदेश के CM योगी आदित्यनाथ. (File Photo: ITG) उत्तर प्रदेश के CM योगी आदित्यनाथ. (File Photo: ITG)

संतोष शर्मा

  • लखनऊ,
  • 28 दिसंबर 2025,
  • अपडेटेड 1:24 PM IST

यूपी की राजधानी लखनऊ स्थित पुलिस मुख्यालय में आयोजित ‘पुलिस मंथन’ वरिष्ठ पुलिस अधिकारी सम्मेलन-2025 के दूसरे और अंतिम दिन मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कार्यक्रम को संबोधित किया. उन्होंने इस पहल को अभिनव प्रयास बताया और डीजीपी समेत पूरी टीम को सफल मंथन के लिए बधाई दी. मुख्यमंत्री ने कहा कि पिछले दो दिनों में विकसित भारत 2047 के लिए जो रोडमैप तैयार किया गया है, वो उत्तर प्रदेश की पुलिसिंग को नई दिशा देगा.

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मुख्यमंत्री ने कहा कि यह कार्यक्रम प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में होने वाली डीजीपी-आईजीपी कॉन्फ्रेंस से प्रेरित है. इसी तर्ज पर यह मंथन आयोजित किया गया, ताकि यह तय किया जा सके कि समसामयिक चुनौतियों से निपटने के लिए कौन-कौन से नवाचार और पहल की जा सकती हैं.

यूपी में 4 लाख सिविल फोर्स

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि आज उत्तर प्रदेश में करीब 4 लाख की सिविल पुलिस फोर्स है, जिसके लिए बेहतर इंफ्रास्ट्रक्चर और सुविधाएं उपलब्ध कराई गई हैं. सम्मेलन के दौरान पुलिस व्यवहार को लेकर भी प्रस्तुतियां दी गईं. मुख्यमंत्री ने कहा कि पिछले आठ वर्षों में जनता की पुलिस के प्रति धारणा में बड़ा बदलाव आया है. 

'महाकाल भी आपका सहयोग...'

मुख्यमंत्री ने पुलिस अधिकारियों से समय के बेहतर प्रबंधन पर काम करने की अपील की. टाइम मैनेजमेंट पर बात करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा, कोई व्यक्ति महाकाल का शिकार इसलिए होता है, क्योंकि वह काल का ध्यान नहीं रखता है. लेकिन यहां पर मुझे लगता है कि आपने काल का ध्यान रखा है तो महाकाल भी आपका सहयोग करेगा. 

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उन्होंने कहा, अगर पहले की तरह उत्तर प्रदेश में दंगे होते, गुंडागर्दी होती, अराजकता होती और महीनों तक कर्फ्यू लगता तो क्या पुलिस के प्रति धारणा बदल पाती. हमने उस सोच को बदलने के लिए आउट ऑफ बॉक्स जाकर काम किया, लेकिन हमेशा कानूनी दायरे में रहकर. इसका नतीजा है कि आज हर कोई मानता है कि उत्तर प्रदेश में बदलाव हुआ है.

मुख्यमंत्री ने कहा कि अगर प्रदेश में सुरक्षा नहीं होती तो इतना बड़ा इंफ्रास्ट्रक्चर खड़ा नहीं हो पाता. आज उत्तर प्रदेश के पास देश में सबसे बेहतर एयर कनेक्टिविटी है और अगले महीने देश का सबसे बड़ा एयरपोर्ट भी शुरू होने जा रहा है. उन्होंने कहा कि आज निवेशक उत्तर प्रदेश में निवेश के लिए तैयार हैं, क्योंकि उन्हें भरोसा है कि यहां सुरक्षा है और कोई धोखा नहीं होगा.

योगी आदित्यनाथ ने स्पष्ट शब्दों में कहा कि जिसने भी कानून को ठेंगा दिखाने का प्रयास किया, यूपी पुलिस ने उसका गिरेबां पकड़कर उसे कानून के दायरे में लाने का काम किया है. उन्होंने बताया कि उन्हें ज्यादातर सूचनाएं ह्यूमन इंटेलिजेंस के जरिए मिलती हैं. इसी वजह से वह जनता दरबार के जरिए सीधे लोगों से संवाद करते हैं.

मुख्यमंत्री ने कहा कि ह्यूमन इंटेलिजेंस को मजबूत करने के लिए संवाद बेहद जरूरी है. हर स्तर पर संवाद बनाए रखना होगा. पीस कमेटी की बैठकें सिर्फ त्योहारों के समय ही नहीं, बल्कि नियमित रूप से होनी चाहिए. उन्होंने दो टूक कहा कि केवल मुख्यालय में बैठकर पुलिसिंग नहीं हो सकती. थाना, सर्किल और पुलिस लाइन के बीच बेहतर समन्वय जरूरी है. यही समन्वय सुरक्षा व्यवस्था को मजबूत करेगा.

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'राजनीतिक हस्तक्षेप न्यूनतम किया'

योगी आदित्यनाथ ने कहा कि उनकी सरकार ने पुलिसिंग में राजनीतिक हस्तक्षेप को न्यूनतम किया है. अफसरों को कम से कम दो साल की तैनाती की स्थिरता दी गई है. उन्होंने कहा कि जब किसी अच्छे अफसर का तबादला होता है तो सिफारिशें आती हैं, लेकिन जब किसी खराब और भ्रष्ट अफसर को हटाया जाता है तो आम लोग खुद आकर बताते हैं कि वो अफसर कितना भ्रष्ट था.

मुख्यमंत्री ने बताया कि जब उनकी सरकार आई थी, तब प्रदेश के 10 ऐसे जिले थे, जहां दशकों से पुलिस लाइन नहीं बन पाई थी. उनकी सरकार ने वहां पुलिस लाइन बनवाई. ह्यूमन रिसोर्स बढ़ाया गया, जिसके चलते यूपी पुलिस में महिला कर्मियों की हिस्सेदारी 13 प्रतिशत से बढ़कर 36 प्रतिशत तक पहुंच गई है.

मिशन शक्ति के तहत काम करने वाली महिला पुलिसकर्मियों को स्कूटी उपलब्ध कराने पर भी मुख्यमंत्री ने जोर दिया. उन्होंने कहा कि पुलिस मंथन जैसे कार्यक्रम को हर साल कैलेंडर का हिस्सा बनाया जाना चाहिए और हर साल दिसंबर के अंतिम सप्ताह में इसका आयोजन होना चाहिए. साथ ही, अच्छे कामों को भी इस मंच पर प्रदर्शित किया जाना चाहिए.

Yaksh ऐप और Crime GPT की लॉन्चिंग

दो दिवसीय सम्मेलन के दौरान उत्तर प्रदेश पुलिस ने Yaksh ऐप भी लॉन्च किया. इस ऐप के जरिए बीट सिपाही से लेकर जोनल अफसर तक किसी भी अपराधी का पूरा विवरण एक ही प्लेटफॉर्म पर देख सकेंगे. इसमें फेस रिकॉग्निशन और वॉयस रिकॉग्निशन जैसी आधुनिक तकनीकों को शामिल किया गया है. Yaksh ऐप में ChatGPT की तर्ज पर Crime GPT टूल को भी जोड़ा गया है, जिससे अपराध से जुड़े डेटा का विश्लेषण और त्वरित जानकारी उपलब्ध हो सकेगी.

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16 पुलिसकर्मियों को मुख्यमंत्री उत्कृष्ट सेवा पुलिस पदक

पुलिस मंथन सम्मेलन के समापन कार्यक्रम में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने 2022 से 2025 के बीच बेहतर पुलिसिंग के लिए 16 पुलिसकर्मियों को मुख्यमंत्री उत्कृष्ट सेवा पुलिस पदक से सम्मानित किया.

वर्ष 2022 के लिए

बरेली के तत्कालीन एसएसपी प्रभाकर चौधरी

इंटेलिजेंस मुख्यालय लखनऊ के एडिशनल एसपी विनय चंद्रा

मुरादाबाद के इंस्पेक्टर रविंद्र प्रताप सिंह

लखीमपुर खीरी इंटेलिजेंस विभाग के इंस्पेक्टर दिनेश कुमार डांडियाल

हापुड़ की इंस्पेक्टर मनु चौधरी

वर्ष 2023 के लिए

मथुरा के तत्कालीन एसएसपी शैलेश कुमार पांडे

लखनऊ एसटीएफ के एडिशनल एसपी विशाल विक्रम सिंह

इंटेलिजेंस विभाग लखनऊ के इंस्पेक्टर विशाल सांगरी

एसटीएफ लखनऊ के हेड कांस्टेबल मनोज कुमार

नोएडा पुलिस कमिश्नरेट की महिला कांस्टेबल शैलेश कुंतल

वर्ष 2024 के लिए

बरेली के एसएसपी अनुराग आर्य

एसटीएफ के डिप्टी एसपी विमल कुमार सिंह

बिजनौर के हेड कांस्टेबल अरुण कुमार

वर्ष 2025 के लिए

संभल के एसपी कृष्ण कुमार

एसटीएफ लखनऊ के डिप्टी एसपी प्रमेश शुक्ला

आगरा कमिश्नरेट की महिला कांस्टेबल प्रियांशी प्रजापति

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