क्या मौत अंत है?
क्या शरीर के साथ खत्म हो जाता है सबकुछ?
क्या हम इस धरती पर बार-बार जन्म लेते हैं?
या केवल यह कहानियां हैं. अगर सच है पुर्नजन्म?
तो हमें याद क्यों नहीं है सबकुछ, अगर झूठ है पुर्नजन्म
फिर क्यों कुछ लोगों को सबकुछ याद रहे जाता है?
उत्तर प्रदेश के मैनपुरी जिले में पुनर्जन्म का हैरान कर देने वाला मामला सामने आया है. दरअसल यह पूरी कहानी 9 जनवरी 2015 से शुरू होती है जब रतनपुर के रहने वाले मनोज मिश्रा नाम का शख्स अपने खेत में सिंचाई कर रहे थे उस दौरान उन्हें एक जहरीले सांप ने काट लिया था. जिसके बाद उनकी आंखों की रोशनी चली गई. परिवार के लोग उन्हें जिला अस्पताल लेकर गए जहां डॉक्टरों ने जांच के बाद मनोज को मृत घोषित कर दिया.
अद्भुत अविश्वसनीय अकल्पनीय
बताया जा रहा है कि जब मनोज मिश्रा की मौत हुई तो उस समय उनकी बेटी गर्भवती थी. मनोज की मौत के 20 दिन बाद उनकी बेटी रंजना ने एक बच्चे को जन्म दिया था. जिसका नाम उन्होंने आर्यन रखा. 4 साल बाद आर्यन ने रतनपुर गांव का नाम लेना शुरू कर दिया और उसके बाद अपनी पूरी कहानी बता डाली.
मां को बोला बेटी, नानी को बताया मां
आर्यन ने अपनी मां से कहा कि आप मेरी बेटी हो, मेरी मां नहीं. जब वह 8 साल बाद अपनी नानी के घर आया तो उसने नानी को नाम से बुलाया और कहा कि आप मेरी पत्नी हो मेरे बच्चे कहां है और दोनों मामा को देखकर बच्चा फूट-फूट कर रोने लगा. पुनर्जन्म की ये कहानी सुनकर पूरा परिवार सकते में आ गया. आर्यन ने यह तक बता दिया कि मनोज मिश्रा रहते हुए उनके बैंक खाते में कितने रुपये जमा थे. इसके अलावा आर्यन ने मनोज से जुड़े कई किस्से अपने परिवार को बताए.
सांप के काटने से मौत हुई थी मनोज मिश्रा की
आर्यन की मां रंजना ने बताया कि जब आर्यन चार साल हुआ तो वह मुझे मां नहीं बल्कि मेरा नाम लेकर बुलाने लगा. उस वक्त हमने कोई खास ध्यान नहीं दिया. पर जब 8 साल बाद वह अपने बेटे को लेकर उसकी नानी के घर गई तो उसने कहा कि बेटा नानी के पैर छुओ. तो इस पर आर्यन नाराज हो गया और कहने लगा कि वो मेरी पत्नी हैं, नानी नहीं.
पुनर्जन्म की अद्भुत कहानी
फिर अपने दोनों मामा को बेटा कहने लगा. 8 साल के आर्यन की यह बात सुनकर परिवार के लोग हैरत में पढ़ गए. 8 साल के बच्चे की इन बातों ने सब को चौका दिया और ये सोचने पर मजबूर कर दिया कि क्या मरने के बाद दोबारा होता है पुनर्जन्म?
पुष्पेंद्र सिंह