'नहीं चाहिए 4 लाख, बस बेटे का पोस्टमार्टम मत करवाओ', दलित महिला ने क्यों की DM से गुजारिश?

बहराइच में आकाशीय बिजली की चपेट में आकर दो लोगों की मौत हो गई. इनमें से एक था 20 साल का दुर्गेश. जब सरकार की तरफ से उसकी मां को चार लाख बतौर मुआवजा देने की बात कही गई तो उन्होंने पैसे लेने से इनकार कर दिया. डीएम को फोन करके कहा कि मेरा असली धन तो मेरा बेटा था. अब जब वो ही नहीं रहा तो मैं पैसों का क्या करूंगी.

Advertisement
बहराइच के बेझा गांव में रहती हैं मर्री देवी. बहराइच के बेझा गांव में रहती हैं मर्री देवी.

राम बरन चौधरी

  • बहराइच,
  • 25 जून 2023,
  • अपडेटेड 9:03 AM IST

साहब मेरा असली धन तो मेरा बेटा था. जब वही नहीं रहा तो चार लाख रुपयों का क्या करूंगी?... ये शब्द हैं उस मां के जिसने आकाशीय बिजली में अपने 20 साल के बेटे को गंवा दिया. एक मां की ये बातें सुनकर डीएम मोनिका रानी के भी आंसू निकल आए. दरअसल, इन दिनों बारिश और तूफान का प्रकोप जारी है. उत्तर प्रदेश के बहराइच में खराब मौसम के कारण आकाशीय बिजली गिरने से 20 साल के दुर्गेश की मौत हो गई थी.

Advertisement

जब सरकार की तरफ से दुर्गेश की मां मर्री देवी को चार लाख रुपये दिए जाने की बात कही गई तो उन्होंने डीएम मोनिका रानी को फोन कर दिया. कहा कि मेरा बेटा तो अब इस दुनिया में रहा नहीं. अब जब वो ही नहीं रहा तो मैं लाख लाख रुपयों का क्या करूंगी. उन्होंने डीएम से गुजारिश की कि बस दुर्गेश का पोस्टमार्टम न करवाया जाए.

दलित मां की इन बातों ने डीएम मोनिका रानी को भी निःशब्द कर दिया. जिसके बाद उन्होंने ने क्षेत्रीय एसडीएम को हादसे में मारे गए सभी लोगों का पंचनामा करवाकर शव उनके परिजनों को सौंपने का निर्देश दिया.

बेहद गरीब है मर्री देवी का परिवार
जानकारी के मुताबिक, मर्री देवी कतरनिया घाट वाइल्ड लाइफ के अंतर्गत कोतवाली मुर्तिहा के गांव बेझा की रहने वाली हैं. परिवार बेहद गरीब है. शनिवार दोपहर करीब साढ़े तीन बजे दुर्गेश, 18 वर्षीय राजेश और 13 साल का चंदबाबू किसी काम से घर से निकले. लेकिन तभी मौसम खराब हो गया.

Advertisement

तेज बारिश और तूफान के साथ आकाशीय बिजली गिरी. इसी की चपेट में आकर तीनों बुरी तरह झुलस गए. दुर्गेश और चंदबाबू की तो उसी समय मौत हो गई.

जबकि, गंभीर रूप से झुलसे राजेश को लोग सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र लेकर पहुंचे. वहां से उन्हें बहराइच मेडिकल कालेज रेफर कर दिया गया. यहां उसका इलाज जारी है.

मुआवजा लेने से किया इनकार
जब मोतीपुर के एसडीएम को इसकी सूचना मिली को वे टीम के साथ मृतकों के घर पहुंचे. उन्होंने कहा कि नियमों के मुताबिक सभी का पोस्टमार्टम करवाना पड़ेगा. साथ ही यह भी बताया कि सरकार की तरफ से प्रत्येक परिवार को चार-चार लाख रुपये बतौर मुआवजा दिया जाएगा. यह सुनते ही दुर्गेश की मां ने कहा कि उन्हें पैसा नहीं चाहिए.

'बेटे का पोस्टमार्टम मत करवाओ'
यह सुनते ही सब हैरान हो गए. वो जिद पर अड़ गईं कि बस दुर्गेश का पोस्टमार्टम न करवाया जाए. उन्हें काफी देर तक समझाया गया. फिर उन्होंने डीएम से बात करने की मांग की. डीएम मोनिका रानी को फोन करने मर्री देवी ने कहा कि 'मेरा असली धन तो मेरा बेटा था. जब वही नहीं रहा तो चार लाख रुपयों का क्या करूंगी? बस मेरे बेटे का पोस्टमार्टम मत करवाओ'. यह सुनते ही डीएम का दिल पसीज गया. उन्होंने एसडीएम को आदेश दिया कि वे दोनों शवों का पोस्टमार्टम न करवाएं. बस शवों का पंचनामा कराकर उन्हें उनके परिजनों को सौंप दें.

Advertisement

 

Read more!
Advertisement

RECOMMENDED

Advertisement