IND vs AUS Tied Test: चेन्नई के उस टाई टेस्ट मैच की कहानी... जब मनिंदर सिंह हुए आउट और बन गया इतिहास

टेस्ट क्रिकेट के इतिहास में केवल दो मौके ऐसे आए हैं जब मुकाबला टाई पर समाप्त हुआ हो. पहली बार साल 1960 में गाबा का मैदान टाई टेस्ट का गवाह बना था. फिर साल 1986 मे भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच खेला गया मद्रास टेस्ट मैच भी टाई रहा था. उस मुकाबले में मनिंदर सिंह आखिरी ओवर में आउट हो गए थे.

Advertisement
ग्रेग मैथ्यूज (@Getty Images) ग्रेग मैथ्यूज (@Getty Images)

aajtak.in

  • नई दिल्ली,
  • 22 सितंबर 2022,
  • अपडेटेड 10:39 AM IST

टेस्ट क्रिकेट के सुनहरे इतिहास में आज (22 सितंबर) का दिन बेहद खास मायने रखता है. 36 साल पहले साल 1986 में इसी दिन भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच मद्रास (अब चेन्नई) टेस्ट मैच टाई हो गया था. 1877 से लेकर अब तक कुल 2,476 टेस्ट मैच खेले जा चुके हैं. लेकिन यह केवल दूसरा अवसर था जब मुकाबला टाई पर खत्म हुआ हो.

Advertisement

इससे पहले साल 1960 में ऑस्ट्रेलिया और वेस्टइंडीज के बीच ब्रिस्बेन में खेला गया टेस्ट मैच टाई पर छूटा था. खास बात यह है कि ऑस्ट्रेलियाई क्रिकेटर बॉब सिम्पसन अब तक हुए दोनों टाई टेस्ट मैच के गवाह रहे हैं. इतिहास के पहले टाई टेस्ट मैच में वह बताैर खिलाड़ी मैदान पर मौजूद थे. वहीं दूसरे में वह ऑस्ट्रेलियाई टीम के हेड कोच की भूमिका में थे.

डीन जोन्स की शानदार बल्लेबाजी

उस मुकाबले में ऑस्ट्रेलियाई कप्तान एलन बॉर्डर ने टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी करने का फैसला किया था. पहली पारी में ऑस्ट्रेलिया ने सात विकेट के नुकसान पर 574 रन बनाकर पारी घोषित कर दी थी. डीन जोन्स ने शानदार 210 रनों की पारी खेली थी. इसके अलावा ओपनर डेविड बून ने 122 और कप्तान एलन बॉर्डर ने 106 रनों का योगदान दिया था. भारत की ओर से ऑफ स्पिनर शिवलाल यादव ने सबसे ज्यादा चार विकेट चटकाए थे.

Advertisement
डीन जोन्स, क्रेडिट: (Getty)

...फिर कपिल देव ने जड़ा शतक

जवाब में भारत की पहली पारी में 397 रनों पर सिमट गई थी, जिसके चलते ऑस्ट्रेलिया को 177 रनों की बढ़त मिल गई. मेजबान टीम के लिए कप्तान कपिल देव ने 138 गेंदों पर ताबड़तोड़ 119 रन बनाए थे. उनके अलावा रवि शास्त्री ने 62, कृष्णमाचारी श्रीकांत ने 53 और मोहम्मद अजहरुद्दीन ने 50 रनों का योगदान दिया था. ऑस्ट्रेलिया की तरफ से ग्रेग मैथ्यूज ने सबसे ज्यादा पांच विकेट हासिल किए. फिर ऑस्ट्रेलिया ने अपनी दूसरी पारी पांच विकेट पर 170 रन बनाकर घोषित कर दी. इस तरह भारत को जीत के लिए 348 रनों की दरकार थी.

आखिरी ओवर में मनिंदर हुए LBW

दूसरी पारी में भारत की ओर से सुनील गावस्कर ने 92 और मोहिंदर अमरनाथ ने 51 रनों की पारी खेलकर जीत की उम्मीदों को जीवंत कर दिया था. मैच के आखिरी ओवर में भारत को जीत के लिए चार रन चाहिए थे और उसके एक विकेट बाकी थे. इस दबाव वाले क्षण में रवि शास्त्री (नाबाद 40 रन) और मनिंदर सिंह के कंधे पर भारत को जीत दिलाने की जिम्मेदारी थी.

आउट होने पर विरोध जताते मनिंदर सिह, क्रेडिट: (Wisden)

ग्रेग मैथ्यूज की दूसरी गेंद पर शास्त्री ने दो रन बनाए. इसके बाद तीसरा गेंद पर उन्होंने एक रन लेकर स्ट्राइक मनिंदर सिंह को दे दी. मनिंदर चौथी गेंद पर रन नहीं बना सके, लेकिन पांचवी गेंद पर वह एलबीडब्ल्यू करार दिए गए. इस तरीके से भारत की दूसरी पारी 347 रनों पर सिमट गई और मैच टाई पर खत्म हो गया. 

Advertisement

बराबरी पर खत्म हुई थी सीरीज

इस मुकाबले में डीन जोन्स और कपिल देव को संयुक्त रूप से मैन ऑफ द मैच चुना गया था. इसके बाद दिल्ली और मुंबई में खेले गए अगले दो टेस्ट मैच ड्रॉ रहे थे. जिसके चलते दोनों देशों के बीच तीन मैचों की टेस्ट सीरीज 0-0 की बराबरी पर छूटी थी. डीन जोन्स ने पूरी सीरीज में सबसे ज्यादा 371 रन बनाए थे. वहीं गेंदबाजी में ग्रेग मैथ्यूज ने सर्वाधिक 14 विकेट अपने नाम किए.

Read more!
Advertisement

RECOMMENDED

Advertisement