लोकसभा में मंगलवार को विपक्ष ने संविधान संशोधन बिल पर सरकार का साथ दिया और सार्थक चर्चा की. लेकिन दूसरी तरफ राज्यसभा में विपक्ष का हंगामा बदस्तूर जारी रहा. मंगलवार को राज्यसभा में लगातार शोरगुल होता रहा और सदन बाधित होता रहा.
राज्यसभा में हुए हंगामे पर संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी ने कहा कि विपक्ष किसानों के मुद्दे पर चर्चा की बात कर रहा था, हम चर्चा करने के लिए भी तैयार थे. हमने समय भी दिया था. उसके बावजूद जब चर्चा की शुरुआत हुई विपक्ष ने और कांग्रेस ने हंगामा शुरू कर दिया.
प्रह्लाद जोशी ने ये भी दावा किया कि सदन में जो रिपोर्टिंग बेंच है उसको डिस्टर्ब किया गया. रूलबुक को उठा कर फेंका गया. यह बहुत ही असंसदीय और अमर्यादित है. इसकी हम कड़ी निंदा करते हैं.
वहीं, विपक्ष के शोरगुल पर कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि हम चर्चा के लिए तैयार थे, आलोचना भी सहने के लिए तैयार हैं और जो अच्छे सुझाव आते हैं, उसको भी हम स्वीकार करने के लिए तैयार हैं. अगर जरूरत हो तो उसके हिसाब से बदलाव भी करते हैं. लेकिन विपक्ष के रवैये से साफ है कि वह न तो चर्चा चाहता है, न ही किसानों का भला चाहता है.
तोमर ने कहा कि कृषि कानून काले नहीं हैं. इनकी नियत काली है और हमारे प्रधानमंत्री ने किसानों के लिए खेती के लिए कई कदम उठाए हैं, विपक्ष को ये बर्दाश्त नहीं हो रहा है.
गौरतलब है कि राज्यसभा में आज भी कांग्रेस सांसद ने किसानों के मुद्दे पर चर्चा के लिए नोटिस दिया था लेकिन सदन में कोई सार्थक चर्चा नहीं हो पाई. यहां तक कि आज विपक्ष के सांसदों ने बाजू में काले बैंड बांधकर सरकार का विरोध किया और काले कपड़े भी पहने. विपक्ष ने आरोप लगाया कि सरकार सदन में विपक्ष की आवाज को दबा रही है.
अशोक सिंघल