पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी कांग्रेस के साथ अपने मतभेदों को दरकिनार कर वायनाड में प्रियंका गांधी के लिए प्रचार करने उतरेंगी. सूत्रों के हवाले से ये जानकारी सामने आई है. कांग्रेस की ओर से हुए अनुरोध के बाद ममता बनर्जी ने प्रचार के लिए सहमति दे दी है. दरअसल ममता बनर्जी ने ही प्रियंका को वाराणसी से चुनाव लड़ने का सुझाव दिया था, जिसे हाल के दिनों में राहुल गांधी ने भी दोहराया है.
पी. चिदंबरम पहुंचे थे कोलकाता
दरअसल, कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पी. चिदंबरम कोलकाता पहुंचे थे, यहां उन्होंने राज्य सचिवालय में ममता बनर्जी के साथ बैठक की थी. सूत्रों के मुताबिक चिदंबरम ने ही गांधी परिवार की ओर से ममता बनर्जी को प्रचार के लिए मनाया है. टीएमसी सुप्रीमो कांग्रेस से नाराज हैं और उन्होंने कांग्रेस-टीएमसी गठबंधन की बातचीत टूटने के लिए विशेष रूप से राज्य पार्टी प्रमुख अधीर चौधरी को जिम्मेदार ठहराया है.
इंडिया गठबंधन के सदस्यों से मिल रहे हैं अभिषेक बनर्जी
बंगाल में टीएमसी की बड़ी जीत के बाद, जहां उसने 42 लोकसभा सीटों में से 29 सीटें हासिल कीं, पार्टी के दूसरे नंबर के नेता अभिषेक बनर्जी कांग्रेस को छोड़कर, विभिन्न मुद्दों पर उन्हें एक साथ लाने के लिए इंडिया गठबंधन के घटक सदस्यों से मिलने के लिए तेजी से काम कर रहे हैं. सबसे पहले, बनर्जी ने नई दिल्ली में समाजवादी पार्टी प्रमुख अखिलेश यादव और आप के राघव चड्ढा से मुलाकात की और बाद में उद्धव ठाकरे से मिलने के लिए मुंबई गए.
NCP चीफ शरद पवार से भी की है मुलाकात
इस सप्ताह की शुरुआत में, सांसद कल्याण बनर्जी, सागरिका घोष और साकेत गोकाले सहित एक टीएमसी प्रतिनिधिमंडल ने मुंबई में NCP सुप्रीमो शरद पवार से मुलाकात की और एग्जिट पोल के दिन कथित शेयर बाजार में हेरफेर की सेबी जांच की मांग करते हुए एक जॉइंट प्रदर्शन में भाग लिया. कांग्रेस इस आंदोलन में शामिल नहीं थी. इस तरह के कदमों से आशंकित और टीएमसी को शांत करने के लिए, कांग्रेस के शीर्ष नेतृत्व ने चिदंबरम को ममता बनर्जी के साथ सीधी बातचीत करने और मतभेदों को सुलझाने के लिए भेजा.
अधीर रंजन चौधरी ने भी नर्म किया रुख
शुक्रवार को, ममता बनर्जी के जाने-माने आलोचक अधीर रंजन चौधरी ने अपना रुख नरम करते हुए कहा कि पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री के साथ उनके मतभेद "पूरी तरह से राजनीतिक थे और व्यक्तिगत नहीं". चौधरी ने शुक्रवार को कोलकाता में प्रदेश कांग्रेस की दो दिवसीय आंतरिक बैठक के दौरान पार्टी कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए यह टिप्पणी की.
क्या बोले अधीर रंजन चौधरी
अधीर रंजन चौधरी ने कहा कि, "2011 में, बंगाल विधानसभा चुनाव से पहले, मैंने सोनिया गांधी से कहा था कि कांग्रेस को वामपंथियों से लड़ने के लिए टीएमसी के साथ गठबंधन करना चाहिए. मैंने उनसे कहा था कि ममता बनर्जी बंगाल में सबसे विश्वसनीय चेहरा हैं और हमें उनके साथ गठबंधन करना चाहिए. चौधरी ने कहा, ''अगर कांग्रेस-टीएमसी गठबंधन करती है तो हम अच्छा करेंगे. मेरा ममता बनर्जी के साथ कोई व्यक्तिगत मतभेद नहीं है, यह पूरी तरह से राजनीतिक है.''
चुनाव में करना पड़ा हार का सामना
अपनी कट्टर ममता विरोधी बयानबाजी के लिए जाने जाने वाले अधीर चौधरी के नेतृत्व वाली बंगाल कांग्रेस को लोकसभा चुनावों में हार का सामना करना पड़ा. सीपीआईएम के साथ गठबंधन से पांच बार के सांसद को अपनी बहरामपुर सीट सुरक्षित करने में भी मदद नहीं मिली, जो कि वह यूसुफ पठान जैसे राजनीतिक दिग्गज से हार गए थे. कई लोगों का मानना है कि कांग्रेस आलाकमान एक बार फिर ममता बनर्जी को मनाने के लिए तेजी से काम कर रहा है, ऐसे में चौधरी के पास स्पष्ट रूप से अपनी बयानबाजी को कम करने के अलावा बहुत कम विकल्प हैं.
इंद्रजीत कुंडू