'बच गया तू, मेरी रैली होती तो...', रोहित पवार ने चाचा के पैर छूए तो बोले अजित पवार

अजित पवार के इस बयान पर रोहित ने कहा कि अगर वह मेरे निर्वाचन क्षेत्र में रैली करते तो चीजें अलग हो सकती थी. वह बारामती में व्यस्त थे इस वजह से वह नहीं आ पाए. ये उनका फैसला था. मैंने उन्हें उनकी जीत पर बधाई दी है.

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अजित पवार और रोहित पवार अजित पवार और रोहित पवार

aajtak.in

  • नई दिल्ली,
  • 25 नवंबर 2024,
  • अपडेटेड 10:22 AM IST

महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में अजित पवार के भतीजे रोहित पवार कर्जत जामखेड सीट से हारते-हारते जीत गए. इस बीच जब रोहित ने चाचा अजित पवार से मुलाकात की तो उनके पैर छू लिए. 

इस मुलाकात के दौरान अजित पवार ने रोहित से कहा कि कम मार्जिन से बच गया तू. अगर तुम्हारे चुनाव क्षेत्र में मेरी रैली होती तो कुछ भी हो सकता था. 

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अजित पवार के इस बयान पर रोहित ने कहा कि अगर वह मेरे निर्वाचन क्षेत्र में रैली करते तो चीजें अलग हो सकती थी. वह बारामती में व्यस्त थे इस वजह से वह नहीं आ पाए. ये उनका फैसला था. मैंने उन्हें उनकी जीत पर बधाई दी है.

चाचा अजित पवार के पैर छूने पर प्रतिक्रिया देते हुए रोहित पवार ने कहा कि बड़ों के पैर छूना हमारी संस्कृति में है. यह हमारी परंपरा है. वह मेरे चाचा हैं. उन्होंने 2019 के चुनाव में भी मेरी मदद की थी. वह मेरे पिता की तरह हैं. 

बता दें कि महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में कर्जत जामखेड सीट पर एक डमी कैंडिडेट की वजह से मुकाबला बेहद दिलचस्प हो गया था. इस सीट से रोहित पवार ने जीत दर्ज की लेकिन उनकी जीत का मार्जिन केवल 1,243 वोटों का रहा. 

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रोहित को 127676 वोट मिले. इस सीट पर उन्हें बीजेपी नेता रामशंकर शिंदे ने कड़ी टक्कर दी और शिंदे को 126433 वोट मिले. वहीं तीसरे स्थान पर रहे निर्दलीय उम्मीदवार रोहित चंद्रकांत पवार की वजह से मुकाबला रोमांचक हो गया. 

रोहित चंद्रकांत ने काटे थे वोट

जानकारों का कहना है कि डमी कैंडिडेट निर्दलीय उम्मीदवार रोहित चंद्रकांत की वजह से एनसीपी (एसपी) रोहित पवार के जीत का मार्जिन कम रह गया था. निर्दलीय रोहित चंद्रकांत को 3489 वोट मिले. वहीं, काउंटिंग के वक्त आखिरी राउंड में कुछ तकनीकी मतों की वजह से रोहित पवार के 300 वोट से हार की बात सामने आई थी. 

हालांकि दोबारा काउंटिंग होने पर रोहित पवार 1243 वोट से विजयी रहे. इस सीट पर कुल 11 उम्मीदवार थे. नोटा को 601 वोट मिले. जब पोस्टल बैलेट की गिनती शुरू हुई तब एनसीपी (एसपी) के उम्मीदवार पीछे चल रहे थे, लेकिन बाद के राउंड में उन्होंने लीड हासिल कर ली और आखिर में जीत गए.

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