Haryana में कल ट्रेनें ना चलाने की चेतावनी, आतंकी संगठन Sikhs for Justice की धमकी के बाद हाई अलर्ट

High Alert In Haryana: सिख फॉर जस्टिस की धमकी को देखते हुए पूरे हरियाणा के रेलवे स्टेशनों की सुरक्षा बढ़ा दी गई है. राज्य के सभी स्टेशनों को हाई अलर्ट पर रखा गया है. खासतौर पर हरियाणा के अंबाला और कुरुक्षेत्र में सुरक्षा कड़ी कर दी गई है.

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अंबाला रेलवे स्टेशन (File Photo) अंबाला रेलवे स्टेशन (File Photo)

सतेंदर चौहान

  • चंडीगढ़,
  • 02 जून 2022,
  • अपडेटेड 9:25 PM IST
  • सीएम और गृहमंत्री को दी धमकी
  • रेलवे स्टेशनों की सुरक्षा बढ़ाई गई
  • अंबाला और कुरुक्षेत्र स्टेशन विशेष अलर्ट पर

भारत में प्रतिबंधित आतंकी संगठन सिख फॉर जस्टिस ने कल (3 जून) हरियाणा में ट्रेनें ना चलाने की धमकी दी है. SFJ के गुरपतवंत सिंह पन्नू ने राज्य के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर और गृहमंत्री अनिल विज को धमकी दी है कि अगर कल हरियाणा में कोई भी ट्रेन चलाई जाती है तो कुछ होने पर जिम्मेदारी हरियाणा सरकार की होगी.

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सिख फॉर जस्टिस की इस धमकी को देखते हुए पूरे हरियाणा के रेलवे स्टेशनों की सुरक्षा बढ़ा दी गई है. राज्य के सभी स्टेशनों को हाई अलर्ट पर रखा गया है. खासतौर पर हरियाणा के अंबाला और कुरुक्षेत्र में सुरक्षा कड़ी कर दी गई है.

क्या है सिख फॉर जस्टिस?

खालिस्तान की मांग को लेकर कई सारे संगठन बने हैं. इन्हीं में एक सिख फॉर जस्टिस भी है. इस संगठन की शुरुआत 2007 में अमेरिका से हुई थी. इसका सारा कामकाज गुरपतवंत सिंह पन्नू ही देखता है. इस संगठन का मकसद पंजाब को देश से अलग कर खालिस्तान बनाने का है. खालिस्तान यानी खालसाओं की भूमि. ऐसे आरोप लगते रहे हैं कि इस संगठन को पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी ISI से फंडिंग होती है. जुलाई 2019 में केंद्र सरकार ने सिख फॉर जस्टिस संगठन पर प्रतिबंध लगा दिया था. उसके पाकिस्तान से कनेक्शन की बातें सामने आई थीं.

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कई बार हुई कानूनी कार्रवाई

जुलाई 2019 तक नेशनल इन्वेस्टिगेटव एजेंसी (NIA), पंजाब पुलिस और उत्तराखंड पुलिस पन्नू पर 12 क्रिमिनल केस दर्ज कर चुकी थी. इन मामलों में 39 लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका था. तीन कृषि कानूनों के खिलाफ हुए किसान आंदोलन के समय भी सिख फॉर जस्टिस का नाम सामने आया था. NIA ने दिसंबर 2020 में चार्जशीट दाखिल की थी, जिसमें किसान आंदोलन से जुड़े नेताओं के SFJ से कथित कनेक्शन की बात कही गई थी. इस मामले में 40 से ज्यादा नेताओं को समन भेजा गया था.

कौन है गुरपतवंत सिंह पन्नू?

गुरपतवंत सिंह पन्नू अमेरिका में रहता था और न्यूयॉर्क में वकालत करता था. उसे सिख फॉर जस्टिस का चेहरा माना जाता है. पन् कई सारी आतंकी गतिविधियों में भी शामिल रहा है. पन्नू ने दो साल पहले 'रेफरेंडम 2020' आयोजित करने की कोशिश की थी, जिसमें उसने दुनियाभर के सिखों से खालिस्तान के समर्थन में वोट देने की अपील की थी.

सिख युवाओं को भड़काने का आरोप

पन्नू पर अक्सर सिख युवाओं को भड़काने का आरोप लगता रहा है. वो युवाओं को खालिस्तान के लिए भड़काता है. जुलाई 2020 में पन्नू को UAPA के तहत आतंकवादी घोषित किया गया था. रिपोर्ट्स के मुताबिक, पन् ने एक बार भारतीय छात्रों को खालिस्तानी झंडा उठाने और खालिस्तान के समर्थन में नारे लगाने को कहा था और इसके बदले में उन्हें iPhone 12 Mini देने का वादा किया था.

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