बारिश से दिल्ली बेहाल! केजरीवाल का BJP पर वार, बोले- क्या यही है 4 इंजन की सरकार की रफ्तार?

पूर्व मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल का यह बयान सीधे तौर पर दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता, बीजेपी शासित नगर निगम और उपराज्यपाल विनय सक्सेना पर निशाना है. उन्होंने सवाल उठाया कि जब पूरा सिस्टम एक ही पार्टी के हाथ में है, तो फिर जवाबदेही तय करने में देरी क्यों हो रही है?

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AAP के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल (File Photo/PTI) AAP के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल (File Photo/PTI)

aajtak.in

  • नई दिल्ली,
  • 29 जुलाई 2025,
  • अपडेटेड 7:47 PM IST

दिल्ली में मंगलवार दोपहर हुई बारिश ने नगर प्रशासन की तैयारियों की पोल खोल दी. शहर का वीआईपी इलाका कनॉट प्लेस जलमग्न हो गया. सड़कों पर पानी भर गया, ट्रैफिक जाम हो गया और ऑफिस लौट रहे लोगों को भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ा.

बारिश से उपजे हालात पर आम आदमी पार्टी के संयोजक और दिल्ली के पूर्व मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने भारतीय जनता पार्टी पर तीखा हमला बोला.

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उन्होंने एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर लिखा, 'जब दिल्ली के दिल कनॉट प्लेस का ये हाल है, तो बाकी दिल्ली की हालत का अंदाज़ा लगाना मुश्किल नहीं है. सिर्फ 10 मिनट की बारिश में सड़कें तालाब बन गईं. 5 महीने में बीजेपी ने दिल्ली को कहाँ लाकर खड़ा कर दिया है? क्या यही है चार इंजन की सरकार की रफ्तार?'

केजरीवाल का यह बयान सीधे तौर पर दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता, बीजेपी शासित नगर निगम और उपराज्यपाल विनय सक्सेना पर निशाना है. उन्होंने सवाल उठाया कि जब पूरा सिस्टम एक ही पार्टी के हाथ में है, तो फिर जवाबदेही तय करने में देरी क्यों हो रही है?

केजरीवाल ने कहा कि जब राजधानी के सबसे महंगे और व्यवस्थित क्षेत्र में जलभराव की यह स्थिति है, तो कल्पना कीजिए कि आम कॉलोनियों, झुग्गियों और गांवों में लोगों को किन हालात का सामना करना पड़ रहा होगा. उन्होंने रेखा गुप्ता सरकार को इवेंट मैनेजमेंट और फोटोशूट की सरकार करार देते हुए कहा कि बीते 5 महीनों में जमीन पर कोई ठोस काम नजर नहीं आया.

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आम आदमी पार्टी का आरोप है कि बीजेपी सरकार सिर्फ प्रचार में व्यस्त है और दिल्ली की बुनियादी समस्याओं से उसका कोई लेना-देना नहीं है. पार्टी नेताओं ने दावा किया कि जब AAP सरकार सत्ता में थी, तब मॉनसून से पहले बड़े पैमाने पर नालों की सफाई और जलभराव रोकने की तैयारी की जाती थी, जिसका असर जमीनी स्तर पर दिखाई देता था.

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