आपने गोल्फ भले ही कभी न खेला हो लेकिन फिल्म-टीवी शो में आपने अक्सर लोगों को गोल्फ खेलते देखा होगा. अगर कभी आपने ध्यान दिया होगा तो देखा होगा कि गोल्फ की बॉल के ऊपर छोटे-छोटे गड्ढे बने होते हैं. लेकिन क्या आपने सोचा है कि ये गड्ढे क्यों बने होते हैं? इन गड्ढों को क्या कहते हैं? आइए जानते हैं गोल्फ बॉल पर क्यों होते हैं गड्ढे.
गोल्फ बॉल पर गड्ढे सिर्फ डिजाइन के लिए नहीं होते हैं. बॉल पर गड्ढे बनाने के पीछे साइंस है. गोल्फ बॉल पर गड्ढे एयरोडायनामिक ऑप्टिमाइजेशन को बढ़ावा देने के लिए बनाए जाते हैं. इसको आसाना भाषा में कहें तो ये गड्ढे बॉल को ज्यादा दूरी तय करने में मदद करते हैं.
साइंटिफिटिक अमेरिकन की रिपोर्ट के मुताबिक, गेंद में मौजूद ये गड्ढ़े हवा के खिंचाव को कम करते हैं और ये गेंद ज्यादा दूरी तय करती है. इसे इस तरह से डिजाइन किया गया है कि गेंद के चारों तरफ हवा का फ्लो बेहतर हो सके और यह तेजी से आगे बढ़ सके.
गेंद पर बने गड्ढे न सिर्फ बॉल को ज्यादा दूरी तय करने में मदद करते हैं बल्कि इसको लिफ्ट करने भी मदद करते हैं. कैसे आया बॉल पर गड्ढे बनाने का आइडिया?
दरअसल, गोल्फ बॉल पर हमेशा से गड्ढे नहीं हुआ करते थे. पहले ये बॉल क्रिकेट बॉल की तरह ही चिकनी हुआ करती थी. लेकिन गोल्फ खेलने वाले खिलाड़ियों ने इस बात पर ध्यान दिया कि नई बाल की बजाय पुरानी बॉल खेल के वक्त ज्यादा दूरी तय करती थी. ऐसा इसलिए ही होता था क्योंकि पुरानी बॉल पर गड्ढे बन जाते थे. इसी से गोल्फ बॉल पर गड्ढे बनाने का आइडिया आया. इसके बाद ब्रिटिश इंजीनियर विलियम टेलर ने ऐसे गोल्फ बॉल्स बनाना शुरू किया, जिसमें डिंपल होते हैं. ये बॉल्स तुरंत ही गोल्फर्स की पहली पसंद बन गए.
aajtak.in