'इस मर्डर में हाथ ना डालो...', पटना शूटआउट कराने वाले शेरू सिंह ने पप्पू यादव को दी धमकी

सांसद पप्पू यादव ने मीडिया से बातचीत में बड़ा खुलासा किया. उन्होंने बताया कि चंदन मिश्रा की हत्या के कुछ समय बाद ही उन्हें एक फोन आया, जो कथित तौर पर कुख्यात अपराधी शेरू सिंह की ओर से कराया गया था. पप्पू यादव के अनुसार, कॉल करने वाले व्यक्ति ने साफ कहा, 'ये जो आरा का शेरुआ है, जो मर्डर करवाया हमको फोन करवाया है. पप्पू यादव को कह दीजिए इस मर्डर में हाथ ना डाले.

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पटना में पप्पू यादव का दावा है कि  शेरू सिंह ने उन्हें धमकी भरा फोन करवाया (Photo design: Vikram Gautam) पटना में पप्पू यादव का दावा है कि शेरू सिंह ने उन्हें धमकी भरा फोन करवाया (Photo design: Vikram Gautam)

aajtak.in

  • पटना,
  • 18 जुलाई 2025,
  • अपडेटेड 11:33 AM IST

बिहार की राजधानी पटना के पारस अस्पताल में दिनदहाड़े बैखौफ पांच बदमाशों ने घुसकर वॉर्ड के अंदर जिस तरह से चंदन मिश्रा को गोलियों से भून डाला, उसके बाद से पटना पुलिस पर सवाल खड़े हो रहे है. चंदन मिश्रा हत्याकांड के पीछे शेरू सिंह का हाथ होने की आशंका जताई जा रही है. अब इसी शेरू सिंह ने पप्पू यादव को भी धमकी भरा फोन करवाया. ऐसा दावा पप्पू यादव ने खुद मीडिया के सामने किया. उन्होंने कहा कि  उन्हें इस मामले से दूर रहने की धमकी भी दी गई है. 

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हमको फोन करवाया

सांसद पप्पू यादव ने मीडिया से बातचीत में बड़ा खुलासा किया. उन्होंने बताया कि चंदन मिश्रा की हत्या के कुछ समय बाद ही उन्हें एक फोन आया, जो कथित तौर पर कुख्यात अपराधी शेरू सिंह की ओर से कराया गया था. पप्पू यादव के अनुसार, कॉल करने वाले व्यक्ति ने साफ कहा, 'ये जो आरा का शेरुआ है, जो मर्डर करवाया हमको फोन करवाया है. पप्पू यादव को कह दीजिए इस मर्डर में हाथ ना डाले. 

कौन है शेरू सिंह और क्या है उसका कनेक्शन 

चंदन मिश्रा की हत्या के तार जिस शेरू सिंह से जुड़ रहे हैं, वह बिहार के आपराधिक जगत का जाना-पहचाना नाम है. जानकारी के मुताबिक, चंदन और शेरू पहले एक ही गैंग में काम करते थे और 2011 में दोनों ने मिलकर बक्सर के एक पेंट कारोबारी की हत्या की थी. इसी केस में चंदन को उम्रकैद की सजा हुई और वह जेल में बंद रहा. बताया जाता है कि चंदन और शेरू दोनों एक समय भागलपुर जेल में बंद थे. वहीं से उनके संबंधों में खटास आई और गैंग के भीतर वर्चस्व की लड़ाई शुरू हो गई. इसी खींचतान का नतीजा चंदन की हत्या के रूप में सामने आया. ऐसा पुलिस सूत्रों की शुरुआती जांच में सामने आया है.

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हत्या की साजिश पहले से थी तैयार,

पारस हॉस्पिटल में हुई इस सनसनीखेज हत्या की गहराई से जांच कर रही पटना पुलिस का कहना है कि चंदन मिश्रा की हत्या किसी तात्कालिक गुस्से या मौके की कार्रवाई नहीं थी, बल्कि इसकी योजना काफी पहले से बनाई गई थी. चंदन मिश्रा की पैरोल खत्म होने ही वाली थी, लेकिन 17 जुलाई की सुबह ही बदमाशों ने अस्पताल में घुसकर उसकी हत्या कर दी. पुलिस को शक है कि अपराधियों को अस्पताल की हर गतिविधि और लोकेशन की सटीक जानकारी पहले से थी. 

तौसीफ बादशाह ने रची पूरी साजिश

पुलिस सूत्रों के अनुसार, इस शूटआउट की कमान एक और कुख्यात बदमाश तौसीफ बादशाह के हाथ में थी, जो पहले भी कई गंभीर मामलों में जेल जा चुका है. वारदात के दिन दो बाइक पर सवार छह अपराधी अस्पताल पहुंचे. इनमें से पांच सीधे अस्पताल की बिल्डिंग में दाखिल हुए और वार्ड में पहुंचकर ताबड़तोड़ फायरिंग की. हत्या के बाद सभी शूटर आराम से बाइक पर बैठकर फरार हो गए. वारदात के बाद उनकी तस्वीरें CCTV कैमरे में कैद हुईं. हैरानी की बात यह है कि घटना के बाद शूटरों को भागते हुए हंसते हुए और एक-दूसरे को हाई-फाइव करते हुए देखा गया. 

पुलिस पर उठ रहे सवाल, अब तक कोई गिरफ्तारी नहीं

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पुलिस की जांच में अभी तक कोई ठोस गिरफ्तारी नहीं हुई है. आरोपियों की तलाश में कई जगह छापेमारी की जा रही है, लेकिन मुख्य साजिशकर्ता फरार हैं. 12 लोगों को हिरासत में लेकर पूछताछ की जा रही है. 

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