उत्तराखंड के रुड़की में गंगा नहर पर बन रहा लोहे का पुल अचानक टूटकर गंग नहर में समा गया. गनीमत रही कि हादसे के दौरान कोई मजदूर इसकी चपेट में नहीं आया. वहीं, पीडब्ल्यूडी सचिव डॉ. पंकज पांडे ने कमेटी गठित कर रुड़की में पुल ढहने की घटना की जांच के आदेश दिए हैं.
दरअसल, रुड़की रेलवे स्टेशन को रुड़की की पीरबाबा कॉलोनी से जोड़ने के लिए मुख्यमंत्री की घोषणा के तहत विधायक प्रदीप बत्रा के प्रस्ताव पर गंग नहर पर पुल बनाया जा रहा था. इसका शिलान्यास मुख्यमंत्री ने 2023 में किया था. इस पुल के निर्माण की जिम्मेदारी लोक निर्माण विभाग को दी गई थी. हाल ही में जब गंग नहर में पानी बंद हुआ, तो पुल के निर्माण में तेजी आई.
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'ऐसा ही हादसा 2021 में भी हो चुका है'
इसके बाद पुल का ढांचा संबंधित ठेकेदार ने तैयार कर नहर के ऊपर बांध दिया. इसी बीच 30 अक्टूबर की रात नहर में पानी आने से पुल पानी में गिर गया. गनीमत रही कि इस हादसे में जान-माल का कोई नुकसान नहीं हुआ. यह हादसा रुड़की में 2012 के एक पुल हादसे की याद दिलाता है, जब नगर-निगम के सामने बन रहे पुल का स्ट्रक्चर भी बह गया था और चार मजदूर उसकी चपेट में आ गए थे.
कमेटी बनाकर दिए जांच के आदेश
इस संबंध में लोक निर्माण विभाग के अधिशासी अभियंता विपुल सैनी का कहना है कि पुल को कोई नुकसान नहीं पहुंचा है. तार ढीले होने के कारण पुल गिरा है. सामान सुरक्षित है. पीडब्ल्यूडी सचिव डॉ. पंकज पांडे ने रुड़की में पुल गिरने की घटना की जांच के आदेश कमेटी बनाकर दिए हैं.
चांदनी क़ुरैशी