गृह मंत्रालय (MHA) ने अब अर्शदीप सिंह गिल उर्फ अर्श डाला को गैरकानूनी गतिविधि (रोकथाम) अधिनियम, (UAPA) के तहत आतंकवादी घोषित किया है. वह मूल रूप से पंजाब के मोगा का रहने वाला है. मौजूदा समय में वह कनाडा में रहता है. इसका संबंध ‘खालिस्तान टाइगर फोर्स’ (KTF) से है.
कई आपराधिक मामले दर्ज
अर्शदीप सिंह पर पंजाब में कई आपराधिक मामले दर्ज हैं. पुलिस ने अर्श डाला को मोस्ट वांटेड अपराधी घोषित कर रखा है. उस पर हत्या, अपहरण और लूट से जुड़े दर्जनों केस दर्ज हैं. वह गैंगस्टर से आतंकवादी बन चुका है. पुलिस से बचने के लिए अर्श डाला कनाडा भाग गया था.
इसकी संलिप्तता पंजाब के सीमावर्ती राज्य में हुई विभिन्न हत्याओं में भी सामने आई थी. इसके अलावा राज्य में पाकिस्तान से आने वाली आरडीएक्स, आईईडी, एके -47 और अन्य हथियारों और गोला-बारूद समेत आतंकवादी हार्डवेयर की आपूर्ति के मामलों में भी डाला की संलिप्तता पाई गई है.
MHA ने हाल ही में शनिवार को हिज्ब-उल-मुजाहिदीन के संचालक डॉ आसिफ मकबूल डार को भी UAPA के तहत आतंकवादी घोषित किया था. जम्मू-कश्मीर का निवासी डार मौजूदा समय में सऊदी अरब में रहता है. इससे पहले शुक्रवार को लश्कर-ए-तैयबा से जुड़े अरबाज़ अहमद मीर को गृह मंत्रालय ने UAPA के तहत आतंकवादी घोषित किया था.
रजनी बाला की हत्या के पीछे अरबाज़ अहमद मीर
रजनी बाला की हत्या के पीछे अरबाज़ अहमद मीर ही मुख्य साजिशकर्ता था. रजनीबाला एक सरकारी शिक्षक थी जिन्हें पिछले साल मई में दक्षिण कश्मीर के कुलगाम जिले में गोली मारकर हत्या कर दी गई थी.
केंद्र सरकार ने जम्मू-कश्मीर और अन्य जगहों पर आतंकी गतिविधियों में शामिल होने की वजह से आतंकवादी समूह जैश-ए-मोहम्मद (JeM) के प्रॉक्सी संगठन पीपुल्स एंटी-फासिस्ट फ्रंट (PAFF) पर भी प्रतिबंध लगा दिया था.
जितेंद्र बहादुर सिंह