केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह (Amit Shah) ने सोमवार को नई दिल्ली में नार्को कोऑर्डिनेशन सेंटर (NCORD) की तीसरी शीर्ष स्तरीय बैठक की अध्यक्षता की. बैठक का मुख्य फोकस भारत को 'नशीली दवाओं से मुक्त' बनाने की योजना और नशीले पदार्थों के प्रति देश की जीरो टॉलरेंस नीति को तैयार करना था.
गृह मंत्रालय के अधिकारियों ने कहा, "मोदी सरकार नशीली दवाओं के दुरुपयोग को राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए एक बड़ा खतरा मानती है, जिसे केवल मिलकर ही निपटा जा सकता है."
Chaired the 3rd Apex level meeting of NCORD with senior officers from the central govt, state governments and various Drug Law enforcement agencies.
The strengthening of NCORD illustrates the PM @NarendraModi led central government’s Zero tolerance policy towards narcotics. pic.twitter.com/UVMV6uV3iZ
अमित शाह ने इसे 'बॉर्डरलेस क्राइम' करार देते हुए ड्रग कानून प्रवर्तन एजेंसियों, खुफिया एजेंसियों, केंद्र और राज्यों के बीच बेहतर समन्वय की जरूरत पर जोर दिया.
करोड़ों का ड्रग्स जब्त
भारत में साल 2018 और 2021 के बीच 1,881 करोड़ रुपये के ड्रग्स जब्त किए गए. यह 2011 और 2014 के बीच जब्त किए ड्रग्स के मूल्य का तीन गुना (604 करोड़ रुपये) है. देश में 2018 से 2021 के बीच लगभग 35 लाख किलोग्राम ड्रग्स को एंटी-नारकोटिक अथॉरिटीज ने जब्त किया, जबकि 2011 से 2014 के बीच 16 लाख किलोग्राम ड्रग्स को जब्त किया गया.
NCORD की बैठक में लिए गए बड़े फैसले:
1. सभी राज्य, DGP के अधीन डेडीकेटेड एंटी नारकोटिक्स टास्क फोर्स (ANTF) का गठन करें. ये राज्य एनसीओआरडी सचिवालय के रूप में काम करेंगे.
2. राष्ट्रीय स्तर पर NCB के तहत केंद्रीय NCORD ईकाई के गठन के भी निर्देश दिए गए.
3. नारकोटिक्स ट्रेनिंग मॉड्यूल, राष्ट्रीय स्तर पर तैयार किया जाए जिससे इसमें पुलिस, CAPF कार्मियों, प्रॉसिक्यूटर्स और विभिन्न सिविल डिपार्टमेंट के लोगों को प्रशिक्षित किया जा सके.
4. दोहरे उपयोग वाले Precursor केमिकल्स का दुरुपयोग रोकने के लिए एक स्थायी इंटर मिनिस्ट्रियल कमेटी का गठन किया जाएगा, जिसका संचालन मिनिस्ट्री ऑफ केमिकल एंड फर्टिलाइजर द्वारा किया जाए और इसमें गृह मंत्रालय से NCB तथा राजस्व विभाग, वित्त मंत्रालय के प्रतिनिधि को भी रखा जाए.
5. साथ ही दोहरे उपयोग वाली प्रिस्क्रिप्शन दवाओं के दुरुपयोग को रोकने के लिए स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय के तहत स्थाई इंटर मिनिस्ट्रियल कमेटी के गठन हो, जिसमें फार्मास्यूटिकल्स विभाग, नेशनल मेडिकल कमिशन, गृह मंत्रालय से एनसीबी और इंडस्ट्री से संबंधित विशेषज्ञों को भी शामिल किया जाए.
6. सभी तटीय राज्यों एवं संघ शासित प्रदेशों द्वारा विशेष रूप से प्रयास किए जाएं और स्टेट NCORD कमेटी की बैठकों में Coast Guard, Navy, Ports Authority इत्यादि सभी stakeholders हों.
7. सभी बंदरगाहों पर आने और जाने वाले Containers की एक निर्धारित प्रक्रिया के अनुसार स्कैनिंग करने के लिए कंटेनर स्कैनर और संबंधित उपकरणों के प्रबंध के निर्देश दिए.
8. राष्ट्रीय स्तर पर नार्को-कैनाइन पूल (Narco-Canine Pool) विकसित करने के भी निर्देश दिए. NCB, NSG के साथ समन्वय कर एक नीति बनाए, जिसके तहत राज्य पुलिस को भी जरूरत के मुताबिक canine squad की सुविधा उपलब्ध कराई जाए.
9. मानस नाम से परिकल्पित नेशनल नारकोटिक्स कॉल सेंटर की शुरुआत.
10. केंद्रीय स्तर पर समेकित NCORD पोर्टल का गठन किया जाए जो विभिन्न संस्थाओं और एजेंसियों के मध्य, सूचना-विनिमय के लिए प्रभावी तंत्र का काम करेगा.
11. नारकोटिक्स के व्यापार में डार्क-नेट और क्रिप्टो करेंसी के बढ़ते उपयोग को रोकने के लिए एक प्रभावी तंत्र का निर्माण किया जाएगा.
12. “ड्रोन्स, सैटेलाइट और तकनीकी के उपयोग द्वारा अवैध ड्रग्स की खेती की रोकथाम की जाएगी.
13. नशे के खिलाफ जागरूकता अभियान का व्यापक प्रसार.
14. सभी प्रमुख कारागारों में नशा मुक्ति केंद्र की स्थापना.
मुनीष पांडे / कमलजीत संधू