'कैंसर इलाज पर सिद्धू की टिप्पणी पर न्यायिक हस्तक्षेप की जरूरत नहीं', दिल्ली HC ने खारिज की याचिका

दिल्ली हाई कोर्ट ने याचिका खारिज करते हुए कहा कि नवजोत सिंह सिद्धू को अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता का मौलिक अधिकार है. अदालत ने कहा कि ऐसे में हम इस मामले में हस्तक्षेप नहीं करेंगे. दिल्ली हाई कोर्ट ने कहा कि सिद्धू केवल अपनी राय व्यक्त कर रहे थे. इसके लिए न्यायिक हस्तक्षेप की आवश्यकता नहीं है.

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नवजोत सिंह सिद्धू (फाइल फोटो: PTI)  नवजोत सिंह सिद्धू (फाइल फोटो: PTI) 

संजय शर्मा

  • नई दिल्ली,
  • 04 दिसंबर 2024,
  • अपडेटेड 5:21 PM IST

कांग्रेस नेता नवजोत सिंह सिद्धू द्वारा अपनी पत्नी के प्राकृतिक और आयुर्वेदिक पद्धति से किए इलाज पर जारी बयान पर रोक लगाने की गुहार वाले मामले में दाखिल जनहित याचिका दिल्ली हाई कोर्ट ने खारिज कर दी. दिल्ली हाई कोर्ट ने याचिका खारिज करते हुए कहा कि नवजोत सिंह सिद्धू को अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता का मौलिक अधिकार है.

अदालत ने कहा कि ऐसे में हम इस मामले में हस्तक्षेप नहीं करेंगे. दिल्ली हाई कोर्ट ने कहा कि सिद्धू केवल अपनी राय व्यक्त कर रहे थे. इसके लिए न्यायिक हस्तक्षेप की आवश्यकता नहीं है. दरअसल पूर्व क्रिकेटर से राजनेता बने नवजोत सिंह सिद्धू ने 21 नवंबर को अमृतसर में प्रेस कॉन्फ्रेंस कर घोषणा की थी कि उनकी पत्नी नवजोत कौर सिद्धू को कैंसर मुक्त घोषित कर दिया गया है.

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सिद्धू ने विशिष्ट आहार और जीवनशैली को दिया श्रेय

उन्होंने अपनी पत्नी के कैंसर से ठीक होने का श्रेय सिर्फ विशिष्ट आहार और जीवनशैली में किए गए बदलावों को दिया. सिद्धू ने विस्तार से बताया कि उनके आहार में नींबू पानी, कच्ची हल्दी, सेब साइडर सिरका और विभिन्न फल और सब्जियां शामिल थीं. उनके बारे में उनका मानना है कि इनसे उनकी सेहत को चमत्कारिक फायदा हुआ.

अपनी पत्नी नवजोत कौर सिद्धू के कैंसर मुक्त होने की जानकारी देते हुए सिद्धू ने कहा था कि कैंसर को हराया जा सकता है. इससे डरने की जरूरत नहीं है. उन्होंने कहा कि कैंसर को हराने के लिए लाइफस्टाइल बदलने की जरूरत होती है. सिद्धू ने कहा कि लाइफस्टाइल बदलकर नीम-हल्दी और नींबू से 40 दिनों में कैंसर को हराया है.

'डॉक्टर ने कहा था कि 3 प्रतिशत चांस है'

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सिद्धू ने कहा, 'आज मुझे गर्व हो रहा है कि मेरी पत्नी पूरी तरह कैंसर से फ्री हो गई हैं. डॉक्टर ने कहा था कि इसके तो 5 प्रतिशत भी चांस नहीं हैं. मेटास्टेसिस (दुर्लभ कैंसर) स्किन में आ गया है. एक ऑन्कोलॉजिस्ट (कैंसर स्पेशलिस्ट डॉक्टर) मेरे दोस्त का बेटा अमेरिका से आया. उसने कहा कोई चांस नहीं. मैंने रिसर्च की थी... उसके जो कॉमन डिनोमिनेटर थे.'

उन्होंने कहा, 'मैंने अपनी बेटी से कहा कि बेटा हम यह डाइट शुरू करेंगे. आप विश्वास नहीं करोगे. इस प्रेस कॉन्फ्रेंस का सबसे बड़ा कारण यह है. स्टेज-4 कैंसर... डॉक्टर ने 3 प्रतिशत चांस कहा था. किस तरह से वहां से 40 दिन में हम वापस आए.'

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