सेंट्रल इंस्टीट्यूट ऑफ साइकेट्रिक और बीआईटी मेसरा ने मिलकर एक ऐसा उपकरण तैयार किया है जो आने वाले समय माइलस्टोन साबित हो सकता है. खास तौर पर डिप्रेशन को पता लगाने में. उस सूत्र या आविष्कार को पेटेंट भी करावाया जा चुका है. आज तक संवाददाता सत्यजीत कुमार ने डॉक्टर निशांत गोयल से बातचीत की है जो इस रिसर्च में शामिल थे. डॉक्टर निशांत ने बताया कि अभी तक पूर्ण रूप से मानसिक बीमारियों को पता करने के लिए कोई उपकरण नहीं है. अभी भी मरीज से बात करके हीं कोई निष्कर्ष निकलता है. फिर उसका इलाज किया जाता है. लेकिन ये उपकरण डिप्रेशन का लेवल या पुष्टि करने में मदद करेगी. देखें वीडियो.