एक हैरान करने वाले मामले में नेपाल पुलिस ने कांग्रेस सांसद सुनील शर्मा को उनके शैक्षिक प्रमाणपत्र फर्जी पाए जाने के बाद गिरफ्तार कर लिया है. नेपाल पुलिस के केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीआईबी) ने शर्मा और चार अन्य को गुरुवार को काठमांडू से गिरफ्तार किया. गिरफ्तार किए गए अन्य लोगों की पहचान रामबाबू यादव, रंजीत यादव, एलीना साह और अमित चौधरी के रूप में हुई है.
बिहार से खरीदे फर्जी प्रमाणपत्र
काठमांडू मेडिकल कॉलेज (सिनमंगल) और नोबेल मेडिकल कॉलेज (विराटनगर) के निदेशक, शर्मा, मोरंग -3 से सांसद हैं. पुलिस सूत्रों की मानें तो शर्मा ने बिहार के अररिया के फारबिसगंज के बीडीबीकेएस कॉलेज से प्राप्त अपने शैक्षणिक प्रमाण पत्र जमा किए. सीआईबी, मेडिकल काउंसिल और नेशनल एग्जामिनेशन बोर्ड की संयुक्त टीम द्वारा की गई जांच के दौरान उनके प्रमाण पत्र नकली पाए गए.
नेपाल के राष्ट्रीय परीक्षा बोर्ड ने दो साल पहले बिहार स्कूल परीक्षा बोर्ड में शर्मा के प्रमाणपत्र को सत्यापित करने के लिए एक टीम भेजी थी. यहां शर्मा के प्रमाण पत्र अभिलेखों में नहीं मिले. सीआईबी ने 'ऑपरेशन क्वैक' चलाया, जिससे नेपाल मेडिकल काउंसिल की मदद से फर्जी प्रमाण पत्र प्रस्तुत करके एमबीबीएस की पढ़ाई करने वाले 59 डॉक्टरों को गिरफ्तार किया गया.
वांछित थे शर्मा
यहां यह बताना जरूरी है कि शर्मा का नाम भी वांछित सूची में था. सीआईबी ने गुरुवार को संसद सचिवालय को शर्मा की गिरफ्तारी की जानकारी दी. संसद सचिवालय को भेजे गए पत्र में कहा गया है कि शर्मा द्वारा मेडिकल काउंसिल को सौंपे गए शैक्षणिक प्रमाण पत्र फर्जी पाए गए हैं. संविधान के अनुच्छेद 103 में प्रावधान है कि किसी आपराधिक अपराध के लिए मौजूदा संसद सदस्य की गिरफ्तारी के तुरंत बाद अध्यक्ष को सूचित किया जाना चाहिए.
शर्मा ने मांगा था गृह मंत्री का इस्तीफा
गौरतलब है कि शर्मा 1 कुंतल सोने की तस्करी के मामले में गृह मंत्री नारायण काजी श्रेष्ठ और वित्त मंत्री प्रकाश शरण महत के इस्तीफे की मांग कर रहे हैं. शर्मा ने 10 जुलाई को प्रतिनिधि सभा की बैठक में कहा था कि अगर सोना तस्करी मामले में मुख्य आरोपी की गिरफ्तारी नहीं हुए तो वह भूख हड़ताल शुरू कर देंगे.
आदित्य वैभव