कोटा: रंग ला रही 'डिनर विद कलेक्टर' पहल, JEE-NEET स्टूडेंट्स को यूं किया जा रहा मोटिवेट

कोटा के डीएम डॉ. रविन्द्र गोस्वामी कोचिंग छात्रों को मोटिवेट करने, उनकी बात की बात सुनने के लिए कामयाब कोटा अभियान के तहत डिनर विद कलेक्टर आयोजित करते हैं, जिसमें वह छात्रों से सीधी बातचीत करते हैं.

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चेतन गुर्जर

  • कोटा,
  • 25 फरवरी 2024,
  • अपडेटेड 12:13 PM IST

जेईई-नीट की तैयारी करने अपना घर-परिवार छोड़कर कोटा आए स्टूडेंट्स को मोटिवेट करने के लिए प्रशासन कई तरह के अभियान चला रहा है. "कामयाब कोटा" अभियान के अंतर्गत जिला कलेक्टर लगातार स्टूडेंट्स के बीच पहुंचकर उन्हें मोटिवेट कर रहे हैं. इसी अभियान में डिनर विद कलेक्टर का भी आयोजन किया जा रहा है.

'डिनर विद कलेक्टर' पहल के तहत जिला कलेक्टर डॉ. रविंद्र गोस्वामी ने शनिवार को राजीव गांधी नगर स्थित बी एल रेजीडेंसी में कोचिंग विद्यार्थियों के साथ डिनर करते हुए बातचीत की है.

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अंकों से ही जीवन की दशा और दिशा तय नहीं होती

विद्यार्थियो ने उनसे संवाद कर अपनी जिज्ञासाएं और शंकाएं शांत की और सफलता के मंत्र भी जाने. जिला कलेक्टर ने उन्हें सीख दी की परीक्षा के अंकों से ही जीवन की दशा और दिशा तय नहीं होती, इससे आगे बढ़कर सोचें और जीवन में कुछ बड़ा करें. उन्होंने कहा कि स्वयं की कमियों और मजबूत पक्ष को पहचानें और समस्याओं को चुनौती की तरह लें. पढ़ाई की नीरसता दूर करने के परिवार और दोस्तों से संपर्क हमेशा बनाए रखें.

अपनी क्षमता के अनुसार तय करें लक्ष्य

उन्होंने छात्रों को मोबाइल का उपयोग कम करने की भी सलाह दी. कलेक्टर रविंद्र गोस्वामी ने छात्रों को बताया कि अच्छी तरह से पढ़ाई कैसे करनी है. उन्होंने कहा कि ज़्यादा से ज़्यादा प्रैक्टिस करें और रिवीज़न करना ना भूलें ताकि आप पुरानी गलतियों को न दोहराएं. जिला कलेक्टर ने कहा कि हर छात्र की अपनी क्षमताएं होती हैं. उनके अनुसार अपने सपने और लक्ष्य तय करें. जीवन का यह दौर एक पड़ाव है. यह मंज़िल नहीं है, जीवन में हमेशा कुछ बेहतर करने एवं पाने का सोचें. लक्ष्य के प्रति समर्पित रहें लेकिन कर्मफल ईश्वर पर ही छोड़ दें.

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विद्यायर्थियों के सवालों के दिए ये जवाब

विद्यायर्थियों ने अध्ययन, जीवन के लक्ष्य और जीवन की चुनौतियों, पेरेंट्स की अपेक्षा को लेकर सवाल पूछे गए, जिनका कलेक्टर ने सहज तरीके से समाधान दिया. विद्यार्थियों ने जिला कलेक्टर की इस पहल का स्वागत करते हुए उनको धन्यवाद किया. इस अवसर पर हॉस्टल की नोडल अधिकारी सुनीता डागा, कोटा हॉस्टल एसोसिएशन के अध्यक्ष नवीन मित्तल महासचिव पंकज हॉस्टल संचालिका उषा एवं अन्य मौजूद थे. इससे पहले भी जिले के कलेक्टर कभी छात्रों के हॉस्टल जाकर तो कभी कोचिंग जाकर छात्रों को मोटिवेट करने के लिए उनसे बातचीत करते रहे हैं.

कोटा में छात्रों को मानिसक रूप से मजबूत करने के लिए डिनर विद कलेक्टर की यह पहल काफी अहम है. पिछले कुछ वर्षों में छात्रों का आत्महत्या करना या लापता हो जाना एक चिंताजनक विषय है. ऐसे में प्रशासन कई कदम उठाता रहता है.

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