बता दें कि राष्ट्रपति ट्रंप अमेरिका में स्कूलों को खोलने की मुहिम चला रहे हैं, ट्रंप का कहना है कि अमेरिका में कोरोना वायरस के ज्यादा केस इसलिए आ रहे हैं क्योंकि यहां टेस्टिंग ज्यादा हो रहे हैं. 3 अगस्त को एक ट्वीट में उन्होंने लिखा था कि अमेरिका में कोरोना के मामले ज्यादा इसलिए आ रहे हैं क्योंकि यहां टेस्टिंग ज्यादा हो रहे हैं. ट्रंप ने ट्वीट किया, "बिग टेस्टिंग की वजह से केस बढ़ रहे हैं, हमारे देश का ज्यादातर हिस्सा अच्छा कर रहा है, अब स्कूलों को खोल देना चाहिए.
इसके बाद उन्होंने आज फिर ट्वीट किया कि स्कूल खोलें जाएं. ट्रंप ने कहा कि देश ही नहीं दुनिया में में कोरोना के मामले लगातार कम हो रहे हैं.
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ट्रंप को रेटिंग की चिंता
दरअसल स्कूलों को खोलने के पीछे ट्रंप की बैचेनी की वजह है अमेरिका के राष्ट्रपति चुनाव हैं. राष्ट्रपति ट्रंप को लगता है कि स्कूलों के खुलने से उनकी रेटिंग में सुधार आएगा.
स्कूलों को खोलने के पीछ एक और तर्क है. अमेरिका में स्कूल बंद होने की वजह से लाखों माता-पिता को चौबीसों घंटे अपने बच्चे का पालन-पोषण करना पड़ रहा है. इससे उनका मूवमेंट प्रभावित हुआ है, आर्थिक गतिविधियों पर असर पड़ा है. अमेरिका से जैसे आजाद समाज में इस असर देखने को मिल रहा है और लोग सरकार से नाराज हैं. ट्रंप चाहते हैं कि स्कूल खुले और जिंदगी पटरी पर आए.
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बता दें कि कुल 47 लाख 13 हजार मामलों के साथ अभी भी अमेरिका कोरोना संक्रमण में टॉप पर बना है. अमेरिका के आंकड़े चिंतित करने वाले हैं, यहां पर अभी तक मात्र 15 लाख 13 लोग ही रिकवर हो सकते हैं. जबकि इस देश में 1 लाख 55 हजार 402 लोगों की मौत अबतक हो चुकी है.
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