National Voters Day: वोट देते हैं तो जानें- मतदाताओं के लिए ये जरूरी नियम

National voters Day: अगर आप भी वोट देते हैं तो पढ़ें ये जरूरी नियम

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प्रतीकात्मक फोटो प्रतीकात्मक फोटो

aajtak.in

  • नई दिल्ली,
  • 25 जनवरी 2019,
  • अपडेटेड 11:36 AM IST

National Voters Day: वोट देना हर नागरिक का आधिकार है, क्योंकि देश के नागरिक के वोट से ही तय होता है कि आने वाली सरकार किसकी होगी. देशभर में आज ही के दिन राष्ट्रीय मतदाता दिवस (National voters Day) मनाया जाता है. जो हमें लोकतंत्र में आम आदमी की ताकत का अहसास कराता है. आइए जानते हैं भारत में मतदाताओं के लिए क्या नियम है.

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कब हुआ चुनाव आयोग का गठन

साल 25 जनवरी 1950 को चुनाव आयोग की स्थापना हुई थी. चुनाव आयोग के 61वें स्‍थापना साल पर 25 जनवरी 2011 को तत्कालीन राष्ट्रपत‌ि प्रतिभा देवी सिंह पाटिल ने 'राष्ट्रीय मतदाता दिवस' का शुभारंभ किया था. 

जानें- वोट और मतदाता से जुड़ी ये जरूरी जानकारी

सवाल- प्रत्येक निर्वाचन क्षेत्र के लिए मतदाताओं की एक सूची होती है, जिसे निर्वाचक नामावली कहते हैं. निर्वाचक नामावली में नाम लिखवाने के लिए न्यूनतम आयु क्या है ?

जवाब- अठारह. प्रत्येक निर्वाचन क्षेत्र के लिए एक मतदाता सूची होती है. संविधान के अनुच्छेद 326 और लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम, 1950 की धारा 19 के अनुसार मतदाता के रजिस्ट्रीकरण के लिए न्यूनतम आयु 18 साल है.

सवाल: क्या भारत में मतदान की न्यूनतम आयु 18 साल शुरू से ही थी?

जवाब: नहीं. पहले मतदाता के रजिस्ट्रीकरण के लिए आयु 21 साल थी. लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम, 1950 को संशोधित करने वाले 1989 के अधिनियम 21 के साथ पठित संविधान के 61वें संशोधन अधिनियम, 1988 के द्वारा मतदाता के पंजीकरण की न्यूनतम आयु को 18 साल तक कम कर दिया गया है. इसे 28 मार्च, 1989 से लागू किया गया है.

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सवाल: 18 साल की आयु योग्यता को निश्चित करने के लिए प्रासंगिक तारीख कौन सी है?

जवाब : लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम, 1950 की धारा 14 (ख) के अनुसार "अर्हता की तारीख" का अर्थ है उस साल के जनवरी माह का पहला दिन जिस साल में निर्वाचक नामावली अन्तिम रूप से प्रकाशित की जाती है.

सवाल: क्या ऐसा व्यक्ति जो भारत का नागरिक नहीं है मतदाता बन सकता है?

जवाब: नहीं. कोई व्यक्ति, जो भारत का नागरिक नहीं है, मतदाता के रूप में रजिस्ट्रीकृत नहीं हो सकता. लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम, 1950 की धारा 16 के साथ पठित संविधान का अनुच्छेद 326 इस बिन्दु का स्पष्टीकरण करता है.

सवाल: क्या एक अनिवासी भारतीय नागरिक मतदाता बन सकता है?

जवाब : लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम, 1950 की धारा 19 के अनुसार कोई व्यक्ति जो किसी निर्वाचन क्षेत्र का मामूली तौर पर निवासी है उस निर्वाचन क्षेत्र की निर्वाचक नामावली में रजिस्ट्रीकृत होने का हकदार होगा. तो भी ऐसे अनिवासी भारतीय नागरिक जो भारत सरकार के अधीन किसी पद पर भारत के बाहर नियुक्त हैं, लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम, 1950 की धारा 20(3) के साथ पठित धारा 20(8)(घ) के अनुसार मतदाता के रूप में रजिस्ट्रीकृत होने के पात्र हैं.

सवाल: क्या कोई अपना नाम एक से अधिक स्थानों पर निर्वाचक नामावली में लिखा सकता है?

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जवाब: नहीं. लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम, 1950 की धारा 17 और 18 के प्रावधानों के अनुसार कोई व्यक्ति उसी निर्वाचन-क्षेत्र में एक से अधिक स्थानों में अथवा एक से अधिक निर्वाचन-क्षेत्र में रजिस्ट्रीकृत नहीं हो सकता.

सवाल: ऐसे नामों/अन्य विवरणों, जो निर्वाचक नामावली में सही प्रकार न लिखे गए हों, को ठीक कराने की क्या कार्य विधि है?

जवाब : निर्वाचक नामावलियों में संशोधन सम्मिलित कराने के लिए आपको फार्म-8 भरकर अपने विधान सभा निर्वाचन क्षेत्र के निर्वाचन रजिस्ट्रीकरण आफिसर के पास दाखिल करना होगा. मतदाता के रूप से रजिस्ट्रीकरण, संशोधन, पता आदि में परिवर्तन के लिए निम्नलिखित विभिन्न फार्म है:--

निर्वाचक नामावली में नाम सम्मिलित कराने के लिए-  फार्म 6

निर्वाचक नामावली में सम्मिलित किये जाने या हटाए जाने पर आक्षेप के लिए- फार्म 7

निर्वाचक नामावलियों में प्रवि‍ष्टियों के भूल सुधार के लिए- फार्म 8

निर्वाचक नामावली में प्रवि‍ष्टि को अन्यत्र रखने के लिए- फार्म 8क

सवाल: संसदीय अथवा विधान सभा निर्वाचन क्षेत्र की निर्वाचक नामावलियाँ तैयार करने का जवाबदायित्व किसका है?

जवाब: निर्वाचक रजिस्ट्रीकरण ऑफिसर का. दिल्ली के मामले में ये क्षेत्रीय उपप्रभागी मजिस्ट्रेट/अतिरिक्त जिला दण्डाधिकारी होते हैं. निर्वाचक रजिस्ट्रीकरण अधिकारी विधान सभा निर्वाचन-क्षेत्र की निर्वाचक नामावलियों की तैयारी का जवाबदायी होता है और यही उस संसदीय निर्वाचन-क्षेत्र के लिए निर्वाचक नामावली होती है जिससे वह विधान सभा खण्ड संबंधित है.

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सवाल: निर्वाचक रजिस्ट्रीकरण आफिसर की नियुक्ति कौन करता है ?

जवाब: लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम, 1950 की धारा 13 ख के अधीन भारत निर्वाचन आयोग राज्य/संघ राज्य क्षेत्र की सरकार के परामर्श से सरकार अथवा स्थानीय प्राधिकरण के किसी अधिकारी का निर्वाचक रजिस्ट्रीकरण आफिसर के रूप में नियुक्त करता है. इसके अतिरिक्त भारत निर्वाचन आयोग निर्वाचक रजिस्ट्रीकरण आफिसर की निर्वाचक नामावलियों की तैयारी/पुनरीक्षण के कार्यों में सहायता देने के लिए एक या अधिक सहायक निर्वाचक रजिस्ट्रीकरण आफिसर नियुक्त करता है.

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