मिस्र के अपदस्थ राष्ट्रपति हुस्नी मुबारक को सरकारी खजाने के करोड़ों डॉलर गबन करने के मामले में तीन साल की जेल हुई है. यहां की एक फौजदारी अदालत ने आज यह सजा सुनाई. गौरतलब है कि तीन साल पहले एक जन आंदोलन के बाद मुबारक को अपदस्थ कर दिया गया था.
मुबारक के दो बेटों- 53 साल के अला मुबारक और 50 वर्षीय गमल मुबारक को भी दोषी ठहराया गया और राष्ट्रपति आवास की मरम्मत के नाम पर 1.79 करोड़ डॉलर का गबन करने को लेकर चार साल की कैद की सजा सुनाई गई.
जज ओसामा शाहीन ने कहा कि अदालत मोहम्मद हुस्नी मुबारक को तीन साल के लिए जेल भेजने का आदेश देती है. जज ने कहा कि मुबारक ने खुद को और अपने बेटों को सरकारी कोष खर्च करने की खुली छूट दे दी. हालांकि तीनों लोगों ने आरोपों का खंडन किया और सुनवाई के दौरान कहा कि अभियोजन का मामला पूरी तरह से निराधार है क्योंकि ऐसा कभी हुआ ही नहीं. उन पर 1.76 करोड़ डॉलर का जुर्माना भी लगाया गया और सरकारी खजाने में 29 लाख डॉलर जमा करने का आदेश दिया गया.
इस मामले में चार अन्य लोगों को बरी कर दिया गया। वहीं, मुबारक के वकील मुस्तफा अली ने कहा कि वे अपील करेंगे. बहरहाल, अभी यह स्पष्ट नहीं है कि मुबारक और उनके बेटों ने जो 23 महीने कैद में बिताए हैं उसे सजा की अवधि में शामिल किया जाएगा या नहीं.
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