स्वामी स्वरूपानंद सरस्वती की बातों को उनके शिष्य याद कर रहे हैं. 99 वर्ष की आयु तक शंकराचार्य स्वरूपानंद सरस्वती जीवित रहे. सनातन धर्म और संस्कृति के ध्वजवाहक शंकराचार्य परंपरा को संभालने वाले स्वरूपानंद का पूजा-पाठ के नियम और व्यक्तिगत जीवन में संयम बेमिसाल था.