भाद्रपद शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा यानी 29 सितंबर से पितृ पक्ष की शुरुआत हुई थी, जो अब समाप्ती की ओर है. आज यानी 12 अक्टूबर बुधवार को श्राद्ध पक्ष की त्रयोदशी तिथि है. इस तिथि पर उनका श्राद्ध किया जाता है, जिनकी मृत्यु त्रयोदशी तिथि पर हुई. त्रयोदशी या अमावस्या के दिन मृत बच्चों का श्राद्ध भी उपयुक्त बताया गया है. आइए जानते हैं त्रयोदशी श्राद्ध के लिए सही समय, तर्पण, शुभ मुहूर्त और विधि.
त्रयोदशी श्राद्ध 2023 शुभ मुहूर्त
त्रयोदशी श्राद्ध का कुतुप मूहूर्त दिन के 12 बजकर 01 मिनट से 12:48 तक रहेगा. इसकी अवधि 47 मिनटों की होगी. वहीं रौहिण मूहूर्त दोपहर 12:48 से 01:36 पीएम तक रहेगा. इसकी अवधि भी 47 मिनटों की होगी. अपराह्न काल दोपहर 1 बजकर 36 मिनट से 3 बजकर 57 मिनट तक रहेगा. इसकी अवधि 2 घंटे 21 मिनट होगी.
त्रयोदशी श्राद्ध 2023 तिथि
त्रयोदशी तिथि की शुरुआत 11 अक्टूबर, 2023 को शाम 5 बजकर 37 मिनट से 12 अक्टूबर शाम 7 बजकर 53 मिनट तक रहेगी.
त्रयोदशी श्राद्ध 2023 महत्व
त्रयोदशी श्राद्ध तिथि को अलग-अलग जगहों पर अलग नामों से भी जाना जाता है. जैसे गुजरात में इसे काकबली एवं बालभोलनी तेरस के नाम से भी जाना जाता है. दूसरी ओर, कई जगहों पर इसे तेरस श्राद्ध भी कहा जाता है.
त्रयोदशी तिथि मृत बच्चों के श्राद्ध के लिए शुभ कही जाती है. हालांकि, पितृपक्ष में बच्चे की मृत्यु तिथि पर ही उसका श्राद्ध किया जाता है, लेकिन अगर तिथि का पता ना हो तो त्रयोदशी पर पूर्ण विधि विधान से श्राद्ध कर सकते हैं. इस तिथि पर किया गया श्राद्ध बच्चों की मृत आत्मा को प्राप्त होता है.
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