ऐसे होता है थायराइड, ये हैं लक्षण

एक स्टडी के मुताबिक, पुरुषों की तुलना में महिलाओं में थायराइड विकार दस गुना ज्यादा होता है.

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प्रतीकात्मक फोटो प्रतीकात्मक फोटो

प्रज्ञा बाजपेयी

  • नई दिल्ली,
  • 17 जुलाई 2018,
  • अपडेटेड 3:33 PM IST

आजकल कई लोग थायराइड बीमारी से पीड़ित हैं. थायराइड में वजन बढ़ने के साथ हार्मोन असंतुलन भी हो जाते हैं. एक स्टडी के मुताबिक, पुरुषों की तुलना में महिलाओं में थायराइड विकार दस गुना ज्यादा होता है. इसका मुख्य कारण है महिलाओं में ऑटोम्यून्यून की समस्या ज्यादा होना है. हेल्थ एक्सपर्ट के मुताबिक, थायराइड हार्मोन शरीर के अंगों के सामान्य कामकाज के लिए जरूरी होते हैं.

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ये हैं दो प्रकार के थायराइड-

हाइपरथायरायडिज्म से एट्रियल फिब्रिलेशन, ऑस्टियोपोरोसिस और फ्रैक्चर होने की संभावना रहती है. वहीं हाइपोथायरायडिज्म, मायक्सेडेमा कोमा और मृत्यु का कारण बनता है. थायरॉइड समस्याओं का सबसे आम कारण ऑटोम्यून्यून थायराइड रोग (एआईटीडी) है. यह एक वंशानुगत यानी जेनेटिक स्थिति है. जिसमें प्रतिरक्षा प्रणाली एंटीबॉडी उत्पन्न करती है. ये थायराइड ग्रंथियों को अधिक हार्मोन बनाने के लिए उत्तेजित करती है.

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ये हैं थायराइड के लक्षण

हाइपरथायरायडिज्म में वजन घटना, गर्मी न झेल पाना, ठीक से नींद न आना, प्यास लगना, अत्यधिक पसीना आना, हाथ कांपना, दिल तेजी से धड़कना, कमजोरी, चिंता, और अनिद्रा शामिल हैं. हाइपोथायरायडिज्म में सुस्ती, थकान, कब्ज, धीमी हृदय गति, ठंड, सूखी त्वचा, बालों में रूखापन, अनियमित मासिकचक्र और इन्फर्टिलिटी के लक्षण दिखाई देते हैं.

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ऐसे बचें-

- स्वस्थ वजन बनाए रखने के लिए फाइबर से समृद्ध और कम वसा वाले आहार लें.

- कुछ न कुछ शारीरिक गतिविधि करते रहें.

- तनाव से थायराइड विकारों को बढ़ने का मौका मिलता है, इसलिए तनाव से बचने की कोशिश करें.

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