गृह मंत्री अमित शाह ने सोमवार को वामपंथी उग्रवाद पर कई केंद्रिय मंत्रियों, प्रभावित राज्य के मुख्यमंत्रियों, मुख्य सचिवों और आला अधिकारियों के साथ बैठक की. उन्होंने कहा कि वामपंथी उग्रवाद पिछले कुछ दशकों से देश के सामने बड़ी चुनौती है. उन्होंने कहा कि वामपंथी उग्रवाद लोकतांत्रिक व्यवस्था में विश्वास नहीं करता और वामपंथी उग्रवादी सत्ता हथियाने व अपने फायदे के लिए सबसे कम विकसित क्षेत्रों में निर्दोष लोगों को गुमराह करते हैं.
अमित शाह ने कहा कि पीएम नरेंद्र मोदी जिस नए भारत के निर्माण की बात करते हैं, उसमें वामपंथी उग्रवाद की कोई जगह नहीं है. उनका कहना था कि बंदूक के बल पर विकास और लोकतंत्र को झुकाने में वामपंथी उग्रवाद को कभी सफलता नहीं मिलेगी.
अमित शाह ने कहा कि वामपंथी उग्रवाद में पहले से काफी गिरावट आई है. उनका कहना था कि जहां 2009 में वामपंथी उग्रवाद की 2258 घटनाएं हुई हैं. वहीं 2018 में यह घटकर 833 हो गईं.
उन्होंने बताया कि पिछले साल सिर्फ 60 जिलों में वामपंथी उग्रवाद की घटना सामने आई और इस कमी में राज्य सरकार, राज्य के सुरक्षा बल तथा केंद्रीय बलों के संयुक्त प्रयासों से सफलता हासिल हुई है. उन्होंने कहा कि हमें समन्वय के साथ काम करना होगा तभी वामपंथी उग्रवाद को खत्म किया जा सकता है.
अमित शाह ने कहा, वामपंथी उग्रवाद को खत्म करने के लिए उन्हें मुहैया होने वाले पैसे को रोकना आधारभूत मंत्र है और इसके द्वारा उनके रहने, खाने-पीने, घूमने, हथियारों की खरीद, ट्रेनिंग आदि व्यवस्थाओं को रोका जा सकता है. अमित शाह ने कहा, वामपंथी उग्रवाद की घटनाएं लगातार कम हो रही हैं इसे खत्म करने की कोशिश उसी तरह से जारी रहना चाहिए.
अमित शाह ने कहा, वामपंथी उग्रवाद से निपटने के लिए साल 2015 में एक राष्ट्रीय नीति और कार्य योजना बनाई गई थी. इसमें सुरक्षा से संबंधित उपायों के साथ-साथ विकास के कार्यों, स्थानीय समुदायों के अधिकारों और हकधारियों को सुनिश्चित करना इत्यादि शामिल है.
उनका कहना था कि 2015 की राष्ट्रीय नीति के तहत स्थानीय नागरिकों के अधिकारों की सुरक्षा हमारी प्राथमिकता है. उन्होंने बताया कि पुलिस बलों का आधुनिकीकरण भी किया जा रहा है. शाह ने कहा, उग्रवाद प्रभावित राज्यों में स्थानीय पुलिस की सतर्कता और दक्षता के बिना वामपंथी उग्रवाद खत्म नहीं किया जा सकता, इसलिए उनकी भूमिका अहम है.
अमित शाह ने कहा कि मोदी सरकार द्वारा विभिन्न मंत्रालयों की प्रमुख योजनाओं के अलावा वामपंथी उग्रवाद से प्रभावित क्षेत्रों के लिए खास कदम उठाए गए हैं, जिनमें प्रमुख तौर पर सड़क एवं टेलीकॉम कनेक्टिविटी में सुधार, वित्तीय समावेशन, कौशल विकास और शिक्षा शामिल है. उन्होंने एकलव्य मॉडल के तहत खोले जाने वाले स्कूलों की गति तेज करने, साथ ही सभी नागरिकों को 5 किलोमीटर के भीतर बैंकिंग सुविधाओं की उपलब्धता सुनिश्चित कराने की बात कही.
अमित शाह ने राज्य सरकारों को विश्वास दिलाया कि वामपंथी उग्रवाद को खत्म करने में केंद्र सरकार पूरा सहयोग करेगी. उन्होंने कहा कि सुरक्षाबलों को नक्सलियों से निपटने के लिए सक्रिय रणनीति बनाने का समय आ गया है और आतंक की घटनाओं को हर कीमत पर टालना जरूरी है. अमित शाह ने कहा कि वामपंथी उग्रवाद के अंतर्गत जो निर्दोष फंसे हैं उन्हें उग्रवाद की धारा से मुख्यधारा में वापस लाना जरूरी है और उनके आत्मसमर्पण को बढ़ावा देना चाहिए.
जितेंद्र बहादुर सिंह