चिदंबरम को नजरबंद किए जाने की दलील खारिज, कोर्ट ने कहा- इसकी हामी नहीं भर सकते

पूर्व वित्त मंत्री पी. चिदंबरम अभी INX मीडिया केस में सीबीआई हिरासत में हैं. सोमवार को सुनवाई के दौरान सबसे पहले कपिल सिब्बल छह नंबर कोर्ट में जस्टिस भानुमति की बेंच के सामने पेश हुए और अपनी दलीलें दीं.

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पूर्व वित्त मंत्री पी. चिदंबरम (फोटो-PTI) पूर्व वित्त मंत्री पी. चिदंबरम (फोटो-PTI)

संजय शर्मा

  • नई दिल्ली,
  • 02 सितंबर 2019,
  • अपडेटेड 11:57 PM IST

पूर्व वित्त मंत्री पी. चिदंबरम अभी INX मीडिया केस में सीबीआई हिरासत में हैं. सोमवार को सुनवाई के दौरान सबसे पहले कपिल सिब्बल छह नंबर कोर्ट में जस्टिस भानुमति की बेंच के सामने पेश हुए और अपनी दलीलें दीं. उन्होंने कहा कि आधी रात को 2 घंटे में सरेंडर करने का नोटिस घर पर चिपकाने का क्या मतलब था? इसके बाद घर में घुसकर गिरफ्तारी भी मनमानी और गैर कानूनी है.

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उन्होंने कहा कि सीबीआई चाहती तो 74 साल के चिदंबरम को घर में नजरबंद कर सकती थी. उस वक्त एसिस्टेंट सॉलिसीटर जनरल एम. नटराजन ने इसका विरोध तो किया लेकिन अदालत ने आदेश दे दिया. घर में नजरबंदी की दलील पर कोर्ट ने ये जरूर कहा कि हम तो नजरबंदी की हामी नहीं भर सकते.

कोर्ट ने कहा कि 5 सितंबर तक चिदंबरम सीबीआई की हिरासत में रहें. इस दौरान निचली अदालत यानी स्पेशल सीबीआई कोर्ट चिदंबरम की अंतरिम जमानत की अर्जी पर विचार कर ले. घंटे भर बाद सॉलिसीटर जनरल तुषार मेहता उसी कोर्ट में पहुंचे और कानूनी प्रावधानों का हवाला देते हुए कहा कि 12 दिन की हिरासत पहले ही हो चुकी है. अब इस नए आदेश से टंटा ये होगा कि 15 दिन की हिरासत से भी ज्यादा वक्त हो जाएगा. ये कैसे मुमकिन है? क्या अदालत किसी और आम आरोपी को भी इतनी ही उदारता से सीबीआई की हिरासत में रखने का आदेश दे देगी. ये परंपरा उचित नहीं है.

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इस पर जस्टिस भानुमति ने कहा कि वो मंगलवार को इस मामले में सुनवाई के लिए तैयार है. साथ ही निचली अदालत यानी सीबीआई कोर्ट को आदेश दिया कि इस मामले पर आज ही सुनवाई करे. फिर मामला सीबीआई की स्पेशल कोर्ट के सामने सुनवाई के लिए आया. दोनों ही पक्ष अपने अपने आदेश पर जमे रहे.

एसजी तुषार मेहता ने कोर्ट से कहा कि वो चिदंबरम की अर्जी पर सुनवाई करते हुए सीबीआई को नोटिस दें. वो हफ्ते या दस दिन में इसका जवाब देंगे. कोर्ट ने कहा कि नहीं कल तक जवाब दीजिए. मेहता ने फिर कहा कि 24 घंटे से भी कम समय में जवाब कैसे दाखिल किया जा सकता है. कम से कम हफ्ते वक्त का समय दें.

अब इस कानूनी उलझन में स्पेशल जज अजय कुहाड़ ने कहा कि आप लोग मेरी मुश्किल भी तो समझो. बाद में अदालत ने आदेश सुरक्षित रखने के आधे घंटे बाद बीच का रास्ता निकालते हुए फैसला सुनाया कि ठीक है.  कल यानी मंगलवार को साढ़े तीन बजे तक चिदंबरम सीबीआई की हिरासत में रहेंगे.

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