आज जब पूरी दुनिया कोरोना वायरस के चलते घरों में कैद है. भारत सहित दुनिया के तमाम देशों के कामकाजी लोग घरों से काम कर रहे हैं. वर्क फ्रॉम होम अचानक दुनिया का नया ट्रेंड बन गया है. ऐसे में कर्मचारियों को ऑनलाइन आपस में जोड़ने और मीटिंग के लिए तमाम ऐप्स के बीच वीडियो कॉलिंग ऐप जूम काफी पॉपुलर हो रहा है. यहां तक कि तमाम निजी स्कूल भी इसका इस्तेमाल कर रहे हैं. क्या आपको पता है कि इसे डेवलेप करने वाले एरिक ने इसे किसलिए और कैसे डिजाइन किया था. आइए जानें इस ऐप और इसके सीईओ के बारे में सबकुछ.
चीनी-अमेरिकी व्यवसायी एरिक युआन का जन्म साल 1970 में हुआ था. वर्तमान में वो ज़ूम वीडियो कम्युनिकेशंस के संस्थापक हैं, जिनमें से वे 22% के मालिक हैं. वर्तमान में वो फोर्ब्स द्वारा दुनिया भर के अरबपतियों की सूची में 293वें स्थान पर हैं.
कोरोना कमांडोज़ का हौसला बढ़ाएं और उन्हें शुक्रिया कहें...
युआन के पिता चीन में एक माइन इंजीनियर थे. उनका जन्म और परवरिश ताईआन, शेडोंग प्रांत, चीन में हुआ. बचपन से ही पढ़ाई में अव्वल और टेक्नोलॉजी के प्रति विशेष आकर्षण रखने वाले युआन ने 1987 में विश्वविद्यालय के प्रथम वर्ष के छात्र के रूप में वीडियोटेलेफोनी सॉफ्टवेयर विकसित किया था.
साल 1997 में एरिक युआन 27 साल की उम्र में एक नई ज़िंदगी शुरू करने सिलिकॉन वैली पहुंच गए. इससे पहले वाे चार साल जापान में नौकरी कर चुके थे. आठ बार वीजा रिजेक्ट होने के बाद उन्हें अमेरिका का वीजा मिला था. यहां उन्हें अपना सपना ले लाया था.
देश-दुनिया के किस हिस्से में कितना है कोरोना का कहर? यहां क्लिक कर देखें
यहां आकर टेक्नोलॉजी फर्म 'वेबएक्स' में बतौर प्रोग्रामर युआन का सफर शुरू हुआ. 'वेबएक्स' को 'सिस्को सिस्टम्स' कंपनी ने खरीदा तो युआन इंजीनियरिंग डिपार्टमेंट के चीफ़ हो गए.
सिस्को में ही पहली बार साल 2011 में उन्होंने कंपनी के अधिकारियों को एक ऐसे वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग ऐप को डेवलप करने का आइडिया दिया जो न केवल डेस्कटॉप और टैबलेट से काम करता था बल्कि मोबाइल फोन से भी उसको एक्सेस किया जा सकता था.
कोरोना पर फुल कवरेज के लिए यहां क्लिक करें
कंपनी में उनका आइडिया किसी को प्रभावित नहीं कर सका और उन्हें इसके लिए इस्तीफा देना पड़ा. यहां से इस्तीफा देकर वो जूम के तौर पर अपना बिजनेस शुरू करना चाहते थे. लेकिन उनके पास पैसे की तंगी थी तो दोस्तों से उधार लेकर अपने सपनों को पंख दिए.
एक इंटरव्यू में उन्होंने बताया था कि पहली बार ज़ूम की कल्पना तब की थी जब मैं चीन में यूनिवर्सिटी स्टूडेंट था. मुझे अपनी गर्लफ्रेंड से मिलने जाने के लिए दस घंटे ट्रेन का सफर करना होता था.
ट्रेन का सफर उन्हें पसंद नहीं था लेकिन अपनी गर्लफ्रेंड के दीदार के लिए वो इतने घंटे सफर करते थे. उसी दौरान उनके मन में जूम का आइडिया आया था. आज उनकी वही प्रेमिका उनकी पत्नी भी हैं. साथ ही उनका ये आइडिया भी पूरी दुनिया में धूम मचा चुका है. कोरोना लॉकडाउन के दौरान इसे नये पंख मिल गए हैं.
aajtak.in