2025 में निर्मला सीतारमण ने दिया दूसरा सबसे छोटा बजट भाषण, 2020 में इतनी लंबी थी स्पीच

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने 1 फरवरी 2025 को 74 मिनट का बजट भाषण दिया, जो उनके सबसे छोटे बजट भाषणों में से एक है. इससे पहले, 2020 में उन्होंने 2 घंटे 40 मिनट का सबसे लंबा बजट भाषण दिया था, जो अब तक का रिकॉर्ड है.

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वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण

aajtak.in

  • नई दिल्ली,
  • 01 फरवरी 2025,
  • अपडेटेड 3:20 PM IST

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने शनिवार को अपना लगातार आठवां बजट पेश किया. आज यानी 1 फरवरी 2025 को दिया गया उनका बजट भाषण 74 मिनट तक चला. यह उनके अब तक के सबसे छोटे बजट भाषणों में से एक है, जबकि 2020 में उन्होंने 2 घंटे 40 मिनट का सबसे लंबा बजट भाषण दिया था, जो अब तक का रिकॉर्ड है.

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वित्त मंत्री ने बजट 2025 को 1 घंटे 14 मिनट में पेश किया जो अब तक का उनका दूसरा सबसे छोटा बजट भाषण है. इससे पहले फरवरी 2024 में उन्होंने 56 मिनट में बजट पेश किया था, जो उनका अब तक का सबसे छोटा बजट भाषण रहा है.  

अगर पिछले बजट भाषणों को देखें तो 2019 में उनका बजट भाषण 2 घंटे 20 मिनट, 2020 में 2 घंटे 40 मिनट, और 2021 में 1 घंटे 40 मिनट तक चला था. 2023 में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने 1 घंटे 27 मिनट और जुलाई 2024 (अंतरिम बजट) में 1 घंटे 22 मिनट का बजट भाषण दिया गया था.  

आपको बता दें कि आम बजट 2025-26 के दौरान वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण का सबसे ज्यादा जोर टैक्स शब्द पर रहा. उनके 74 मिनट लंबे भाषण में टैक्स का जिक्र 51 बार किया गया, जो इस बार की सबसे चर्चित बात रही. इसके बाद TDS/TCS (26 बार), कस्टम (22 बार), मेडिकल (20 बार), सुधार (20 बार), किसान (20 बार) और MSME (15 बार) जैसे विषयों पर खास ध्यान दिया गया.  

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बिहार और पूर्वोत्तर पर फोकस  

इस बजट में बिहार का 8 बार और पूर्वोत्तर (NE) का 5 बार जिक्र किया गया, जिससे साफ है कि सरकार इन क्षेत्रों के विकास पर विशेष ध्यान दे रही है. इसके अलावा इंफ्रास्ट्रक्चर, जल संसाधन, टेक्सटाइल, निवेश, बैंकिंग और स्टार्टअप्स से जुड़े मुद्दों पर भी बात की गई. इस दौरान उन्होंने टैक्स शब्द का जिक्र सबसे ज्यादा 51 बार किया. इसके अलावा कस्टम (22 बार), टैक्सपेयर्स (22 बार), मेडिकल (20 बार), सुधार (20 बार) और किसान (20 बार) जैसे विषयों पर भी जोर दिया गया. 

इसके साथ-साथ योजना (18 बार), निर्यात 17 बार, एमएसएमई 15 बार, निवेश 13 बार, बैंक 13 बार, युवा 13 बार, बजट 11 बार, कौशल 11 बार, जहाज 11 बार, अर्थव्यवस्था 11 बार, विनिर्माण 11 बार, बुनियादी ढांचा 10 बार और मोदी शब्द 10 बार बोला गया. इसके अलावा शिक्षा, उद्यमिता, पूर्वोत्तर, पीपीपी, हवाई अड्डा, एआई/रोबोटिक्स, एफडीआई, आईआईटी, और कैंसर जैसे शब्दों का भी जिक्र कई बार हुआ. 

वित्त मंत्री ने कहा कि यह बजट गरीब, युवा, अन्नदाता और नारी पर केंद्रित है. सरकार का उद्देश्य आर्थिक सुधारों को तेज करना, रोजगार के अवसर बढ़ाना और टेक्नोलॉजी सेक्टर में भारत को आत्मनिर्भर बनाना है.

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