22 November 2025
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फ्लाइट में एयर होस्टेस और क्रू मेंबर आपस में कुछ ऐसी बातें भी करती हैं, जिनके लिए उनका अपना एक सीक्रेट लेंग्वेज या कोड होता है.
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एक फ्लाइट अटेंडेंट ने उस सीक्रेट भाषा का खुलासा किया है जिसका इस्तेमाल केबिन क्रू आपस में संवाद के लिए करते हैं.
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डेली मेल की रिपोर्ट के मुताबिक, एक एयर होस्टेस ने हाल में ही सोशल मीडिया पर एक वीडियो में खुलासा किया कि फ्लाइट में क्यों उन्हें कोड लैंग्वेज का इस्तेमाल करना पड़ता है.
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फ्लाइट में एयर होस्टेस एक दूसरे से सीधे बात नहीं कर पाते. इसकी कई सारी वजहें होती है. इसलिए वो साइन लैंग्वेज या कोड का इस्तेमाल करते हैं.
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उनके अनुसार, इंजन के शोर, केबिन के आकार और 200 से अधिक यात्रियों के बीच एयर होस्टेस को चुपचाप अपने साथी तक अपनी बात पहुंचाने के लिए सीक्रेट कोड का इस्तेमाल करना पड़ता है.
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ऐसे संवाद के लिए गैर-मौखिक संकेतों की एक 'सीक्रेट' प्रणाली की आवश्यकता होती है.इसमें विभिन्न प्रकार के भोजनों को दर्शाने वाले संकेत और हाव-भाव शामिल होते हैं.
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ये इशारे फ्लाइट अटेंडेंट को शीघ्रतापूर्वक और शांति से संवाद करने में मदद करते हैं - जो भोजन परोसने के दौरान विशेष रूप से उपयोगी होता है.
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एयर होस्टेस ने बताया कि केबिन क्रू के रूप में आप जानते होंगे कि हमारे पास विमान में एक गुप्त भाषा होती है. जब हमें इसकी जरूरत होती है तो हम एक-दूसरे से संवाद में इसका इस्तेमाल करते हैं.
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