कामाख्या मंदिर में माता के इस हिस्से की होती है पूजा, जया किशोरी ने बताया इससे जुड़ा रहस्य

20 apr 2025

aajtak.in

कामाख्या मंदिर गुवाहाटी (असम) के नीलांचल पर्वत पर स्थित है. माता के सभी शक्तिपीठों में से कामाख्या शक्तिपीठ बहुत ही सर्वोत्तम है. 

चलिए जया किशोरी से जानते हैं कि कामाख्या मंदिर में कौन सा रहस्य है और क्यों वो मंदिर इतना शक्तिशाली है.

जया किशोरी के मुताबिक, 'अगर कामाख्या मंदिर कोई औरत जाए तो वो और ज्यादा शक्तिशाली महसूस करती है. उस मंदिर में ये बताया गया है कि स्त्री के शरीर का हर हिस्सा बहुत ही शक्तिशाली होता है.'

जया किशोरी कहती है कि ' कामाख्या मंदिर में माता के यौनि भाग की पूजा की जाती है वो बहुत ही शक्तिशाली भाग है लेकिन असल जिंदगी में महिला के उस हिस्से को शक्तिहीन माना जाता है. और वहां पर लोग उस हिस्से की पूजा करते हैं.'

जया किशोरी ने बताया कि एक प्रसंग के मुताबिक, 'माता सती के प्रति भगवान शिव का मोह भंग करने के लिए भगवान विष्णु ने अपने सुदर्शन चक्र से माता सती के मृत शरीर के 51 भाग किए थे. जिस जिस जगह पर माता सती के शरीर के अंग गिरे, वो सभी शक्तिपीठ कहलाए.'

ऐसा माना जाता है कि असम के कामाख्या में माता सती का एक अंश गिरा था और उसी से कामाख्या शक्तिपीठ की उत्पत्ति भी हुई. 

जया किशोरी ने ये भी बताया कि  'कामाख्या मंदिर तंत्र विद्या का सबसे बड़ा केंद्र माना जाता है. लाखों की संख्या में अघोरी बाबा माता की पूजा करने आते हैं .' 

इस शक्तिपीठ से जुड़ा एक रोचक तथ्य ये भी है कि क्योंकि यहां माता का योनि भाग गिरा था जिसकी वजह से माता हर साल तीन दिनों के लिए रजस्वला होती हैं. जिस दौरान मंदिर बंद कर दिया जाता है.