सत्ता हस्तांतरण पहचान, नई संसद भवन में सेंगोल बनेगा देश का अभिमान
By Aajtak.in
देश की नई संसद भवन में रखा
जाने वाला सेंगोल इन दिनों देश
में चर्चा का विषय बना हुआ है.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी उस सेंगोल
यानी राजदंड को स्थापित करेंगे.
15 अगस्त 1947 की आजादी की
रात पंडित जवाहर लाल नेहरू
को यह सेंगोल सौंपा गया था.
सेंगोल हिंदू परंपरा में सत्ता हस्तांतरण
की पहचान रहा है, 1947 की रात को अंग्रेजी हुकूमत के आखिरी वायसराय
माउंट बेटन ने नेहरू को थमाया था.
5 फीट लंबे चांदी से बने इस सेंगोल
पर सोने की परत चढ़ाई गई है.
इसके ऊपरी हिस्से पर नंदी
विराजमान हैं. इस पर झंडे बने हुए हैं.
सेंगोल को हाल ही में प्रायगराज से लाने के बाद दिल्ली के म्यूजियम में रखा गया था. इस सेंगोल को 1947 में बनवाया गया था.
नई संसद में सेंगोल को स्थापित करने
से पहले एक बार फिर इसको
पवित्र जल से शुद्ध किया जाएगा.
मोदी सेंगोल को लोकतंत्र के नए मंदिर में स्थापित करेंगे. सेंगोल को लोकसभा अध्यक्ष की कुर्सी के बगल में पोडियम पर स्थापित किया जाएगा.
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