कोर्ट ने अपने फैसले में कहा कि हम याचिकाकर्ता को महिला एवं बाल विकास मंत्रालय में सचिव और एएसजी ऐश्वर्या भाटी के समक्ष अपनी बात रखने की छूट देते हैं.