त्रिपुरा के लोक निर्माण विभाग (PWD) के सचिव किरण गिट्टे रविवार को बेलोनिया उपमंडल के बल्लामुख और ईशन चंद्रनगर गांव का दौरा करेंगे. यह दौरा ग्रामीणों द्वारा उठाई गई चिंताओं के बाद हो रहा है, जो बांग्लादेश के कलिकापुर (फेनी जिला) में मुहुरी नदी के पास एक तटबंध (बांध) के पुनर्निर्माण को लेकर हैं.
लगभग पूरा हो चुका है बांध का काम
बांग्लादेश ने भारत की ओर से आने वाले बाढ़ के पानी को रोकने के लिए कलिकापुर में लगभग 8 से 9 फीट ऊंचा बांध बना लिया है. यह बांध लगभग पूरा हो चुका है. यह घटनाक्रम भारत और बांग्लादेश के बीच बढ़ते व्यापारिक तनाव के बीच हुआ है.
विधायक दीपांकर सेन ने न्यूज एजेंसी पीटीआई से कहा, 'बांग्लादेश कलिकापुर और उसके आस-पास के क्षेत्रों की सुरक्षा के लिए यह बांध बना रहा है, लेकिन इससे भारतीय गांवों- उत्तर बेलोनिया, बल्लामुख, और ईशन चंद्रनगर- में गंभीर चिंताएं पैदा हो गई हैं.'
भारत के गांवों पर मंडरा रहा बाढ़ का खतरा
उन्होंने कहा कि अपनी हालिया यात्रा के दौरान ग्रामीणों ने उन्हें बताया कि यह बांध भारत की ओर से बहने वाले बाढ़ के पानी को रोक देगा, जिससे 3 से 4 भारतीय गांवों के निचले इलाकों में भारी जलभराव और बाढ़ का खतरा बढ़ जाएगा.
ग्रामीण कर रहे नहर बनाने की मांग
ग्रामीणों की मांग है कि मानसून के दौरान बाढ़ का पानी निकल सके, इसके लिए बल्लामुख से होते हुए ईशन चंद्रनगर के रास्ते कलिकापुर तक एक नाला (नहर) बनाया जाए. इससे पहले विधायक ने दक्षिण त्रिपुरा के जिला मजिस्ट्रेट मोहम्मद सज्जाद पी. से मुलाकात कर इस मुद्दे पर चर्चा की और स्थानीय लोगों की चिंता से उन्हें अवगत कराया.
दक्षिण त्रिपुरा के एडीएम प्रदीप के. ने गिट्टे के दौरे की पुष्टि करते हुए कहा, 'गिट्टे रविवार को प्रभावित क्षेत्रों का दौरा करेंगे ताकि वह ग्रामीणों की चिंता को स्वयं देख सकें.' हालांकि उन्होंने कहा, 'यह एक अंतरराष्ट्रीय मामला है, इसलिए मैं इस पर कोई आधिकारिक बयान नहीं दे सकता.'