ऑपरेशन सिंदूर के बाद भारत और पाकिस्तान के बीच सीजफायर पर सहमति बन गई है. लेकिन यह संघर्ष भारत और तुर्की के बीच एक लाइन खींचने जा रहा है. भारत ने हमेशा तुर्की को अपना करीबी दोस्त माना है और 'ऑपरेशन दोस्त' इसका सबूत है. साल 2023 में तुर्की में आए भीषण भूकंप के बाद भारत ने 250 से ज़्यादा जवान, विशेष उपकरण और राहत सामग्री भेजी थी.
लेकिन अब लगता है कि चीजें बदल गई हैं. पाकिस्तान ने चार दिन में करीब 400 तुर्की ड्रोन से भारत पर हमला किया और ऐसा नहीं है कि तुर्की को यह पता नहीं था कि पाकिस्तान उन ड्रोन के साथ क्या करेगा.
तुर्की का पाकिस्तान प्रेम
पाकिस्तान के साथ तुर्की का मजबूत गठबंधन एक नई कहानी बयां करता है. रिपोर्ट्स यह भी बताती हैं कि 2024 से तुर्की ने भारत को रक्षा संबंधी निर्यात पर पूरी तरह प्रतिबंध लगा दिया है. हालांकि, 2021 में एक भारतीय फर्म ने एक मिलियन अमेरिकी डॉलर के निवेश के साथ तुर्की की UAV प्रोड्यूसर ज़ायरोन डायनेमिक्स में 30 प्रतिशत हिस्सेदारी खरीदी. दोनों कंपनियों ने तुर्की के इस्तांबुल में इंटरनेशनल डिफेंस फेयर में एक पार्टनरशिप एग्रीमेंट पर साइन किए थे. भारत सरकार ने इसे एक नई शुरुआत और रक्षा क्षेत्र में भारतीय निवेश का स्वागत किया.
वसुधैव कुटुम्बकम की अवधारणा के साथ भारत कर रहा सीरिया और तुर्की की मदद।@MoHFW_India provided life-saving emergency medicines, protective items, medical equipment, critical care drugs, etc as part of 🇮🇳's efforts to provide humanitarian assistance to 🇹🇷 & 🇸🇾. #OperationDost pic.twitter.com/n6IlgXhaCL
— Dr Mansukh Mandaviya (@mansukhmandviya) February 14, 2023
पाकिस्तान के साथ हाल ही में हुए तनाव के दौरान ही तुर्की का रुख सामने आया. तुर्की ने पहलगाम हमले के बाद भारत की जवाबी कार्रवाई को न सिर्फ भड़काऊ बताया, बल्कि उसकी निंदा भी की. इसके विपरीत, उसने कहा, 'हम 22 अप्रैल के आतंकवादी हमले की जांच के लिए पाकिस्तान की अपील का समर्थन करते हैं.'
क्या भारत का निर्यात तुर्की को ड्रोन बनाने में मदद कर सकता है? इसका जवाब हां है. हालांकि तुर्की ने भारत को ड्रोन और दूसरे हथियारों की बिक्री पर प्रतिबंध लगा दिया है, लेकिन तुर्की को भारत के निर्यात का एक बड़ा हिस्सा ड्रोन बनाने में इस्तेमाल किया जा सकता है. कोविड-19 के बाद तुर्की को भारत के निर्यात में वृद्धि हुई है और इंजीनियरिंग सामान का हिस्सा सबसे बड़ा है. एल्युमीनियम और एल्युमीनियम प्रोडक्ट्स, ऑटो कंपोनेंट, विमान और पुर्जे, दूरसंचार उपकरण, इलेक्ट्रिक मशीनरी और उपकरण, तुर्की को भारत के प्रमुख निर्यातों में शामिल हैं.
A new beginning - welcome Indian investment in the defence sector…..
— IndiaInTürkiye (@IndiaInTurkiye) August 18, 2021
Partnership agreement between @DCMShriramLtd of India and @zyronedynamics of Turkey signed at #IDEF2021 in Istanbul in the presence of @AmbSanjayPanda
🇮🇳🤝🇹🇷@SSB_Eng @anadoluagency @ANI @airnewsalerts pic.twitter.com/DkSBW0q9k2
इन उत्पादों का इस्तेमाल ड्रोन की इलेक्ट्रॉनिक सिस्टम में भी किया जाता है, जैसे एवियोनिक्स, कम्युनिकेशन मॉड्यूल और कंट्रोल सिस्टम, स्ट्रक्चरल कॉम्पोनेंट जैसे एयरफ्रेम, हवाई जहाज का ढांचा, प्रोपल्शन एलिमेंट जैसे इंजन पार्ट और सेंसर उपकरण जैसे इमेजिंग, सर्विलांस सिस्टम शामिल हैं.