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नेपाल-कंबोडिया से ऑपरेट हो रही चीनी साइबर गैंग का पर्दाफाश, अहमदाबाद साइबर क्राइम ने किया 6 ठगों को गिरफ्तार

अहमदाबाद साइबर क्राइम ने कंबोडिया और नेपाल से ऑपरेट हो रही चीनी साइबर ठग गैंग का भंडाफोड़ करते हुए छह भारतीय सदस्यों को गिरफ्तार किया है. आरोपियों ने एक युवक को दुबई से लीगल फंड भेजने के नाम पर नेपाल बुलाया और बैंक अकाउंट की जानकारी लेकर उसे 6 दिन तक होटल में बंदी बनाकर लाखों रुपये ट्रांसफर किए. मामला इंटरनेशनल साइबर फ्रॉड से जुड़ा है.

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पुलिस की गिरफ्त में आरोपी.
पुलिस की गिरफ्त में आरोपी.

अहमदाबाद साइबर क्राइम ब्रांच ने एक अंतरराष्ट्रीय साइबर फ्रॉड गैंग का भंडाफोड़ करते हुए कंबोडिया और नेपाल से ऑपरेट हो रही चीनी साइबर ठग गिरोह के छह सदस्यों को गिरफ्तार किया है. यह गैंग बैंक खातों के जरिए करोड़ों रुपये के डिजिटल इन्वेस्टमेंट फ्रॉड, टेलीग्राम टास्क फ्रॉड और डिजिटल अरेस्ट स्कैम में शामिल थी.

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दरअसल, गैंग ने अहमदाबाद निवासी प्रणय भावसार को दुबई से लीगल फंड भेजने का झांसा देकर अपने जाल में फंसाया था. आरोपी राहुल यादव और आरिफ सैयद ने प्रणय को समझाया कि उसके बैंक अकाउंट की जरूरत है. बाद में उसे नेपाल ले जाकर काठमांडू के होटल में छह दिन तक बंधक बनाकर रखा गया.

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वहां आरोपी यश यादव और मनन गोस्वामी ने प्रणय के अकाउंट की किट और सिम कार्ड हासिल कर उसे चीनी साइबर क्रिमिनल्स को सौंप दिया. इसके बाद 21 और 22 जनवरी को उसके बैंक अकाउंट में क्रमशः 43 लाख और 5.85 लाख रुपये जमा कराए गए, जिन्हें तुरंत अन्य खातों में ट्रांसफर कर दिया गया.

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तकनीकी और ह्यूमन इंटेलिजेंस से खुला राज

ACP एच.एस. माकड़िया के अनुसार, टेक्निकल एनालिसिस और ह्यूमन इंटेलिजेंस की मदद से आरोपियों की पहचान कर अहमदाबाद और सूरत में छापेमारी कर सभी छह आरोपियों को गिरफ्तार किया गया, जिनमें मनन गोस्वामी (23), अहमदाबाद, राहुल यादव (29), अहमदाबाद, आरिफ सैयद (30), अहमदाबाद, गौतम चौहान (22), अहमदाबाद, चिराग ढोला (29), भावनगर और यश यादव (23), प्रतापगढ़, यूपी (फिलहाल अहमदाबाद) के नाम शामिल है.

किन-किन धाराओं में केस दर्ज?

आरोपियों पर भारतीय न्याय संहिता की धाराएं 61(2), 127(3), 317(2), 317(4), 316(2) और आईटी एक्ट की धारा 43 और 66(C) के तहत केस दर्ज किया गया है. गैंग को हर एक बैंक अकाउंट और किट के बदले $1500 का कमीशन मिलता था.

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