भारत और पाकिस्तान के बीच मई 2025 में हुए तनाव के दौरान भारत ने "ऑपरेशन सिंदूर" के तहत पाकिस्तान के सैन्य ठिकानों पर हमले किए. इन हमलों में ब्रह्मोस मिसाइलों का इस्तेमाल हुआ, जिसने पाकिस्तान के भोलारी एयरबेस को भारी नुकसान पहुंचाया.
अब एक रिटायर्ड पाकिस्तानी एयर मार्शल और सिंध के मुख्यमंत्री ने स्वीकार किया है कि इस हमले में पाकिस्तान का एक महत्वपूर्ण AWACS (एयरबोर्न वार्निंग एंड कंट्रोल सिस्टम) विमान नष्ट हो गया और कई कर्मी मारे गए. दो कुबूलनामे में पहले पाकिस्तान ने 11 सैनिकों के मरने और 78 घायल होने की बात कही थी. दूसरी बार माना था कि दो रेंजर मारे गए हैं. आइए, इस घटना को आसान शब्दों में समझें...
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क्या हुआ था?
22 अप्रैल, 2025 को जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में आतंकी हमले के बाद भारत ने 6 से 10 मई तक "ऑपरेशन सिंदूर" चलाया. इस ऑपरेशन में भारत ने पाकिस्तान के 11 एयरबेस, जैसे नूर खान, सरगोधा और भोलारी पर ब्रह्मोस मिसाइलों से हमले किए. इन हमलों का मकसद आतंकी ठिकानों और पाकिस्तानी वायुसेना की ताकत को कमजोर करना था. भोलारी एयरबेस जो सिंध प्रांत के जमशोरो जिले में है, पर 10 मई को हुए हमले में भारी नुकसान हुआ.
AWACS विमान क्या है और क्यों महत्वपूर्ण है?
AWACS विमान एक उड़ता हुआ रडार सिस्टम है, जो हवा में दुश्मन के विमानों, मिसाइलों और ड्रोनों पर नजर रखता है. यह वायुसेना का "आंख और कान" होता है, जो युद्ध के दौरान रणनीति बनाने में मदद करता है. एक AWACS विमान की कीमत और महत्व 15 फाइटर जेट्स से भी ज्यादा हो सकता है. पाकिस्तान के पास कुछ ही AWACS विमान हैं, जिनमें से ज्यादातर चीन ने दिए हैं. अगर भोलारी में एक AWACS नष्ट हुआ, तो यह पाकिस्तानी वायुसेना के लिए बड़ा झटका है.
रिटायर्ड एयर मार्शल का बयान
पाकिस्तान के रिटायर्ड एयर मार्शल मसूद अख्तर ने एक इंटरव्यू में स्वीकार किया कि भारत के ब्रह्मोस हमले में भोलारी एयरबेस पर एक AWACS विमान पूरी तरह नष्ट हो गया. उन्होंने बताया कि भारत ने चार ब्रह्मोस मिसाइलें दागीं, जिनमें से चौथी मिसाइल ने एयरबेस के हैंगर को निशाना बनाया, जहां AWACS और संभवतः एक F-16 फाइटर जेट रखा था. सैटेलाइट तस्वीरों से भी पता चलता है कि हैंगर में आग लगी और विमान खुले में जल गए. यह बयान पाकिस्तान की तरफ से पहली बार इतना बड़ा कबूलनामा है.
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सिंध के मुख्यमंत्री का बयान
सिंध के मुख्यमंत्री मुराद अली शाह ने भी इस हमले की पुष्टि की. उन्होंने कहा कि भोलारी एयरबेस पर भारत के हवाई हमले में सात लोग मारे गए, जिनमें से छह पाकिस्तानी वायुसेना के तकनीकी कर्मचारी थे. यह कर्मचारी विमानों और उपकरणों की देखभाल करते थे. उनकी मौत से एयरबेस की कार्यक्षमता पर और असर पड़ा.
भोलारी एयरबेस को कितना नुकसान?
सैटेलाइट तस्वीरों और खबरों के मुताबिक, भोलारी एयरबेस पर एक बड़ा हैंगर नष्ट हो गया, जिसमें 60 फीट चौड़ा छेद हो गया. यह हैंगर AWACS जैसे बड़े विमानों को रखने के लिए इस्तेमाल होता था. इसके अलावा, रनवे और अन्य बुनियादी ढांचे को भी नुकसान पहुंचा. एक F-16 जेट भी आग में क्षतिग्रस्त हुआ. भारतीय कंपनी KawaSpace और OSINT विशेषज्ञ डेमियन सायमन्स ने तस्वीरें साझा कीं, जिनमें नुकसान साफ दिख रहा है.
ब्रह्मोस मिसाइल की भूमिका
ब्रह्मोस एक सुपरसॉनिक क्रूज मिसाइल है, जो भारत और रूस ने मिलकर बनाई है. यह ध्वनि से तीन गुना तेज उड़ती है और बहुत सटीक निशाना लगाती है. ऑपरेशन सिंदूर में भारत ने सुखोई-30 विमानों से ब्रह्मोस मिसाइलें दागीं, जो पाकिस्तान की हवाई रक्षा को चकमा दे गईं. भोलारी पर चार मिसाइलों के हमले ने पाकिस्तान की रक्षा प्रणाली की कमजोरी को उजागर किया.
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क्यों है यह बड़ा कबूलनामा?
क्या कहते हैं विशेषज्ञ?
भोलारी एयरबेस का हैंगर AWACS जैसे बड़े विमानों के लिए बनाया गया था. सैटेलाइट तस्वीरों में दिख रहा नुकसान और आग यह सुझाव देती है कि AWACS के साथ एक F-16 भी क्षतिग्रस्त हुआ. OSINT विशेषज्ञ डेमियन सायमन्स ने कहा कि हमले की सटीकता से पता चलता है कि भारत ने रणनीतिक लक्ष्यों को चुना.
पाकिस्तान का जवाब और युद्धविराम
पाकिस्तान ने दावा किया कि उसने भारत के आदमपुर और पठानकोट एयरबेस पर हमले किए, लेकिन भारत ने इन दावों को खारिज किया. 10 मई को अमेरिका की मध्यस्थता से युद्धविराम हुआ, लेकिन इसके बाद भी जम्मू और श्रीनगर में छोटे हमले हुए.