scorecardresearch
 

डमी एयरक्राफ्ट को PAK ने समझा राफेल! जानें- भारत ने लक्ष्य और बंशी की मदद से कैसे बजाई दुश्मन की बैंड

ऑपरेशन सिंदूर में IAF पाकिस्तान के रडार और एयर डिफेंस सिस्टम को डमी एयरक्राफ्ट से धोखा देकर हमला किया. ये दिखने सुखोई-30 और मिग-29 जैसे दिखते हैं. इन डमी एयरक्राफ्ट की उड़ान से पाक के रडार और मिसाइल सिस्टम का पता चला. इसके बाद ब्रह्मोस मिसाइलों ने 11 एयरबेस को नष्ट कर दिया. आइए जानते हैं इन डमी एयरक्राफ्ट्स के बारे में...

Advertisement
X
ऊपर से नीचे... DRDO बंशी जेट और लक्ष्य. इनके अलावा अभ्यास डमी एयरक्राफ्ट का भी नाम आ रहा है. (फाइल फोटोः DRDO)
ऊपर से नीचे... DRDO बंशी जेट और लक्ष्य. इनके अलावा अभ्यास डमी एयरक्राफ्ट का भी नाम आ रहा है. (फाइल फोटोः DRDO)

भारत और पाकिस्तान के बीच मई 2025 में हुए तनाव के दौरान भारतीय वायुसेना (IAF) ने ऑपरेशन सिंदूर में एक अनोखी और चतुर रणनीति अपनाई. 9-10 मई की रात को, IAF ने बिना पायलट वाले ड्रोन (UAVs) का इस्तेमाल किया, जो सुखोई-30 और मिग-29 जैसे लड़ाकू विमानों की तरह दिखते थे.

Advertisement

आमतौर पर भारतीय सेनाएं अपने मिसाइल परीक्षणों के दौरान टारगेट की तरफ इस्तेमाल करते हैं. इन नकली विमानों ने पाकिस्तानी वायुसेना और उनकी हवाई रक्षा प्रणाली को धोखा दिया, जिससे भारत को पाकिस्तान के 11 एयरबेस पर सटीक हमले करने का मौका मिला.

यह भी पढ़ें: PAK का तीसरा कुबूलनामा... भोलारी एयरबेस पर ब्रह्मोस अटैक में AWACS और जेट का काम तमाम, 7 मौतें

आइए, इस शानदार रणनीति को आसान शब्दों में समझें और जानें कि कैसे भारत ने यह कमाल किया...

ऑपरेशन सिंदूर 

ऑपरेशन सिंदूर में भारत ने 6 से 10 मई तक पाकिस्तान के आतंकी ठिकानों और सैन्य अड्डों, जैसे नूर खान, सरगोधा और भोलारी एयरबेस पर हमले किए. इन हमलों में 15 ब्रह्मोस मिसाइलों का इस्तेमाल हुआ, जिन्होंने पाकिस्तान की हवाई रक्षा को भारी नुकसान पहुंचाया. लेकिन इन हमलों की सफलता का राज था IAF की नई रणनीति, जिसमें नकली ड्रोन का इस्तेमाल विमानों की तरह किया गया.

Advertisement

नकली ड्रोन की चाल: कैसे दिया धोखा?

IAF ने बिना पायलट वाले ड्रोन को इस तरह तैयार किया कि वे रडार और इन्फ्रारेड सिग्नल में सुखोई-30MKI और मिग-29 जैसे लड़ाकू विमानों जैसे दिखें. ये ड्रोन पाकिस्तान की हवाई रक्षा प्रणाली के लिए असली खतरे की तरह लगे. इस चाल ने निम्नलिखित तरीकों से काम किया...

  • पाकिस्तान को भटकाया: इन नकली ड्रोन ने पाकिस्तान की चीनी HQ-9 मिसाइल सिस्टम को सक्रिय करवा दिया. PAF के लड़ाकू विमानों को गलत जगहों पर भेजा. इससे पाकिस्तान के रडार और कमांड सेंटर की स्थिति उजागर हो गई.
  • रडार को निशाना बनाया: जब पाकिस्तान ने अपने रडार और मिसाइल सिस्टम चालू किए, तो IAF ने इजरायल निर्मित हारोप ड्रोन (जिन्हें "सुसाइड ड्रोन" भी कहते हैं) का इस्तेमाल किया. ये ड्रोन रडार की तरंगों का पीछा करके उन्हें नष्ट कर देते हैं.
  • हमले का रास्ता साफ: पाकिस्तान की हवाई रक्षा कमजोर होने के बाद IAF ने ब्रह्मोस मिसाइलों से 11 एयरबेस पर सटीक हमले किए, जिनमें भोलारी और नूर खान जैसे बड़े ठिकाने शामिल थे.

यह भी पढ़ें: 15 मिसाइलों से वार, PAK का सिस्टम घुटनों पर... ब्रह्मोस में ऐसा क्या है कि पाकिस्तानी रोक नहीं पाए?

कौन से ड्रोन इस्तेमाल हुए?

IAF ने ड्रोन के मॉडल का खुलासा नहीं किया, लेकिन विशेषज्ञों का मानना है कि भारत ने लक्ष्य और बंशी जेट 40+ ड्रोन का इस्तेमाल किया. ये ड्रोन खास तौर पर हवाई रक्षा प्रशिक्षण और युद्ध रणनीति के लिए बनाए गए हैं। इनकी खासियतें इस प्रकार हैं...

Advertisement

हीट-अभ्यास

HEAT-अभ्यास का उपयोग विभिन्न मिसाइल प्रणालियों के मूल्यांकन हेतु हवाई लक्ष्य के रूप में होता है. टेस्ट में इस विमान की निगरानी टेलीमेट्री, रडार एवं इलेक्ट्रो ऑप्टिकल ट्रैकिंग सिस्टम सहित विभिन्न ट्रैकिंग सेंसर की जांच की गई. 

india fools pakistan, dummy aircraft

इसकी सभी उड़ानें पूरी तरह से ऑटोमैटिक होती हैं. इसकी सटीकता और प्रभावशीलता को देखते हुए इसे फ़ोर्स मल्टीप्लायर करार दिया. अभ्यास 180 मीटर प्रति सेकेंड की गति उड़ान भरता है. यानी एक सेकेंड में इतनी दूरी तय कर लेता है. यह अधिकतम 5 किलोमीटर की ऊंचाई हासिल कर लेता है. 

इसकी लगातार उड़ान होती रहती है. ताकि मिसाइलों की टेस्टिंग की जा सके. इसका इस्तेमाल एंटी-एयरक्राफ्ट वारफेयर प्रैक्टिस, सतह से हवा में मार करने वाली मिसाइलों, जैमर प्लेटफॉर्म, डिकॉय, पोस्ट लॉन्च रिकवरी मोड जैसे मिशन में होता है. 

लक्ष्य ड्रोन

यह भारत के रक्षा अनुसंधान संगठन (DRDO) द्वारा बनाया गया तेज गति वाला ड्रोन है, जिसे हवाई रक्षा प्रशिक्षण के लिए इस्तेमाल किया जाता है. यह रडार और इन्फ्रारेड सिग्नल को बढ़ाकर सुखोई-30 या मिग-29 जैसे विमानों जैसा दिख सकता है.

india fools pakistan, dummy aircraft

इसमें इलेक्ट्रॉनिक काउंटरमेजर्स (ECM) होते हैं, जो दुश्मन के रडार और संचार को बाधित करते हैं. 700 किमी/घंटा की रफ्तार और चालाकी भरे उड़ान पैटर्न इसे असली जेट जैसा बनाते हैं. यह सस्ता और दोबारा इस्तेमाल होने वाला है, जिससे कई ड्रोन एक साथ भेजे जा सकते हैं. लक्ष्य ड्रोन की विश्वसनीयता और नकली विमान जैसी क्षमता ने इसे ऑपरेशन सिंदूर के लिए उपयुक्त बनाया.

Advertisement

बंशी जेट 40+

यह ब्रिटेन में डिज़ाइन किया गया ड्रोन है, जिसे भारतीय सेना इस्तेमाल करती है. यह तेज गति वाले हवाई खतरों को नकली रूप देने के लिए बनाया गया है. यह रडार और इन्फ्रारेड सिग्नल को बढ़ाकर लड़ाकू विमान या क्रूज मिसाइल जैसा दिखता है. 720 किमी/घंटा से ज्यादा रफ्तार और जैमिंग सिस्टम इसे दुश्मन के लिए मुश्किल बनाते हैं. इसका छोटा आकार इसे ट्रैक करना कठिन बनाता है. बंशी की बहुमुखी प्रतिभा और IAF के प्रशिक्षण में इसका अनुभव इसे इस ऑपरेशन के लिए उपयुक्त बनाता है.

यह भी पढ़ें: सुसाइड ड्रोन, रडार और टारगेट की ट्रैकिंग... वो 23 मिनट जिसमें भारत ने PAK-चीन की चाल फेल कर दी

india fools pakistan, dummy aircraft

कैसे काम की रणनीति?

IAF ने लक्ष्य और बंशी ड्रोन को अलग-अलग रडार और इन्फ्रारेड सिग्नल के साथ भेजा, जिससे ऐसा लगा कि एक बड़ा हवाई हमला हो रहा है. इससे पाकिस्तान ने अपनी पूरी हवाई रक्षा प्रणाली सक्रिय कर दी. लड़ाकू विमान गलत जगहों पर भेजे. इस बीच, IAF ने असली हमले की तैयारी की और ब्रह्मोस मिसाइलों से 11 एयरबेस को नष्ट कर दिया.  

पाकिस्तान ने दावा किया कि उसने IAF के पांच विमानों को मार गिराया, लेकिन अब पता चला कि ये नकली ड्रोन थे. X पर कुछ यूजर्स ने लिखा कि लक्ष्य और बंशी ड्रोन ने PAF को बेवकूफ बनाया, जिससे वे सोचने लगे कि उन्होंने असली जेट्स को नष्ट किया.

Advertisement

रणनीति की सफलता

पाकिस्तान की हवाई रक्षा पंगु: नकली ड्रोन ने पाकिस्तान के रडार और मिसाइल सिस्टम को उजागर कर दिया, जिन्हें हारोप ड्रोन ने नष्ट किया.

11 एयरबेस नष्ट: ब्रह्मोस मिसाइलों ने पाकिस्तान के नूर खान, भोलारी और रफिकी जैसे एयरबेस को तबाह कर दिया, जिसमें एक AWACS विमान भी नष्ट हुआ.

मनोवैज्ञानिक जीत: पाकिस्तान को गलत खबरों में उलझाकर भारत ने उनकी रणनीति को कमजोर किया.

Live TV

Advertisement
Advertisement