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राबड़ी आवास के बाहर संजय यादव के खिलाफ जमकर नारेबाजी, कार्यकर्ताओं ने हार का जिम्मेदार ठहराया

बिहार विधानसभा चुनाव में RJD की हार के बाद पार्टी में घमासान तेज हो गया. लालू-राबड़ी आवास के बाहर कार्यकर्ताओं ने संजय यादव के खिलाफ नारेबाजी की. कार्यकर्ताओं ने संजय यादव को विधानसभा चुनाव में पार्टी की हार का जिम्मेदार ठहराया. कार्यकर्ताओं ने संजय यादव मुर्दाबाद और रोहिणी आचार्य जिंदाबाद के नारे लगाए.

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कार्यकर्ताओं ने जमकर नारेबाजी की. (Photo: Screengrab)
कार्यकर्ताओं ने जमकर नारेबाजी की. (Photo: Screengrab)

बिहार में हाल ही में संपन्न विधानसभा चुनाव में आरजेडी को मिली हार के बाद पार्टी के अंदर घमासान तेज हो गया है. विशेषकर लालू यादव और राबड़ी आवास के बाहर पार्टी कार्यकर्ताओं ने जमकर हंगामा किया और सांसद संजय यादव के खिलाफ नारेबाजी की. कार्यकर्ताओं ने संजय यादव को विधानसभा चुनाव में पार्टी की हार का जिम्मेदार ठहराया. कार्यकर्ताओं ने संजय यादव मुर्दाबाद और रोहिणी आचार्य जिंदाबाद के नारे लगाए.

क्या थे रोहिणी आचार्य के आरोप?
पार्टी के भीतर इस हार को लेकर विरोध और आक्रोश लगातार बढ़ता जा रहा है. कार्यकर्ताओं का आरोप है कि चुनाव के दौरान संजय यादव ने संगठन को कमजोर किया और सही रणनीति अपनाने में विफल रहे. इसके अलावा, रोहिणी आचार्य यादव ने भी कई तरह के आरोप लगाए हैं. उन्होंने कहा कि पार्टी में आंतरिक राजनीति और व्यक्तिगत स्वार्थ के चलते संगठन कमजोर हुआ और यही वजह है कि RJD को जनता का समर्थन कम मिला.

रोहिणी आचार्य ने रिजल्ट आने के एक दिन बाद कहा था कि इस हार से उन्हें बहुत निराशा हुई है और वह राजनीति छोड़ रही हैं. सिर्फ राजनीतिक मोर्चे पर ही नहीं, रोहिणी ने परिवार से भी दूरी बना ली है. पार्टी की आंतरिक लड़ाई और हार का दबाव उनके पारिवारिक संबंधों पर भी असर डाल रहा है. लालू यादव के घर में इस हार के बाद तनाव का माहौल है और परिवार के सदस्य तथा पार्टी के वरिष्ठ नेता लगातार विचार-विमर्श कर रहे हैं कि आने वाले समय में संगठन को कैसे मजबूत किया जाए. कार्यकर्ताओं और नेताओं के बीच आपसी सहयोग और रणनीतिक एकजुटता के अभाव ने पार्टी की छवि को कमजोर किया है.

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रोहिणी आचार्य के गंभीर आरोप
लालू प्रसाद यादव की बेटी रोहिणी आचार्य ने पारिवारिक कलह को लेकर सनसनीखेज आरोप लगाए थे. उन्होंने कहा है था कि उन्हें मारने के लिए चप्पल उठाया गया और उन्हें गाली दी गई. रोहिणी ने यह भी दावा किया कि उनके पिता को 'गंदी किडनी' देने के लिए अपमानित किया गया. उनके भाई तेज प्रताप यादव ने अपनी बहन के अपमान को असहनीय बताते हुए उनके पक्ष में आवाज उठाई है.

रोहिणी आचार्य ने जो अन्य गंभीर आरोप लगाए हैं, उनमें मुख्य रूप से संजय यादव और उनके करीबी रमीज को निशाना बनाया गया है. संजय यादव को तेजस्वी यादव का करीबी सलाहकार माना जाता है. रोहिणी ने स्पष्ट कहा कि वह राजनीति छोड़ रही हैं और परिवार से नाता तोड़ रही हैं. उन्होंने कहा कि जब पार्टी की हार (बिहार चुनाव में) के बारे में सवाल पूछा जाता है, तो संजय यादव और रमीज का नाम लेने पर गाली दी जाएगी और चप्पल से पिटवाया जाएगा.

परिवार से निकाले जाने का आरोप
उन्होंने तेजस्वी यादव पर उन्हें परिवार से बाहर निकालने का आरोप लगाया. उन्होंने कहा कि 'मेरा कोई परिवार नहीं है,' और यह सवाल तेजस्वी, संजय और रमीज से जाकर पूछा जाना चाहिए. उन्होंने यह भी कहा कि इन लोगों ने उनसे उनका मायका छुड़वा दिया और उन्हें अनाथ बना दिया गया.

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